देवघर. इन दिनों ब्रह्मलीन योगी सम्राट देवराहा बाबा के परम शिष्य योगीराज देवदास जी महाराज देवघर में हैं. वे शहर के अग्रहरि आश्रम में चल रहे राम कथा में प्रवचन से भक्तों को सराबोर कर रहे हैं. इसी क्रम में प्रभात खबर ने महाराज जी से खास बातचीत की. प्रस्तुत है बातचीत का प्रमुख अंश…प्रश्न : आज के संदर्भ में अध्यात्म का क्या महत्व है?उत्तर : अध्यात्म समय से परे नहीं है. चाहे कोई कालखंड हो, अध्यात्म शाश्वत है. आज भी और आगे भी इसका महत्व रहेगा. इसका मूल अर्थ है धर्म के प्रति निष्ठा और उसको पूर्णत: निभाने की कोशिश.प्रश्न : आज का संदर्भ गीता क्या है?उत्तर : यह उसी प्रश्न से जुड़ा है. आम लोगों के लिए किये गये जिस कर्म से खुशी, शांति, सौहार्द, ज्ञान व आनंद मिलता हो, वही कर्म करने योग्य है. ऐसे कर्म से मनुष्य के लौकिक और पारलौकिक मार्ग प्रशस्त हो जाते हैं. प्रश्न : जीवन के पार क्या है?उत्तर : दरअसल, जीवन के इस पार भौतिक संसार है और उस पार आध्यात्मिक संसार का साम्राज्य है, सद्गति है और वही परम शांति है.प्रश्न : क्या मृत्यु के बाद भी आत्मा चैतन्य रहता है?उत्तर : आत्मा हर अवस्था में चैतन्य रहता है. इस पार भी और उस पार भी. प्रश्न : पिंड दान का अंश क्या पितृ को प्राप्त होता है?उत्तर : हां, निश्चित रूप से प्राप्त होता है. अभी हमलोग स्थूल रूप में हैं और मृत्यु के बाद स्थूल ही सूक्ष्म हो जाता है. बस यही परिवर्तन होता है और पिंड दान प्रकृति का एक्सचेंज प्रक्रिया है. जो विभिन्न प्रक्रियाओं से गुजरता हुआ पितृ को प्राप्त होता है.अंत में महाराज जी ने नयी पीढ़ी के लिए कहा कि सभी कर्म से नहीं भागें. निष्ठा रखें, माता-पिता व अपनी संस्कृति को आत्मसात करें. इसी से भविष्य सुंदर बनेगा.
देवदास जी महाराज की खबर में बॉक्स लगायें
देवघर. इन दिनों ब्रह्मलीन योगी सम्राट देवराहा बाबा के परम शिष्य योगीराज देवदास जी महाराज देवघर में हैं. वे शहर के अग्रहरि आश्रम में चल रहे राम कथा में प्रवचन से भक्तों को सराबोर कर रहे हैं. इसी क्रम में प्रभात खबर ने महाराज जी से खास बातचीत की. प्रस्तुत है बातचीत का प्रमुख अंश…प्रश्न […]
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement