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पटना : जंक्शन पर लगे वाटर प्यूरिफायर खराब
पटना : पटना जंक्शन से रोजाना 70-80 हजार यात्रियों की आवाजाही हैं. इन यात्रियों आइआरसीटीसी के सहयोग से वाटर वेंडिंग मशीन के साथ-साथ नल व वाटर प्यूरिफायर की व्यवस्था प्लेटफॉर्मों पर की गयी है. लेकिन, जंक्शन के सभी प्लेटफॉर्मों पर लगाये गये वाटर प्यूरिफायर महीनों से खराब हैं. इससे यात्रियों को प्लेटफॉर्म पर मुफ्त में […]
पटना : पटना जंक्शन से रोजाना 70-80 हजार यात्रियों की आवाजाही हैं. इन यात्रियों आइआरसीटीसी के सहयोग से वाटर वेंडिंग मशीन के साथ-साथ नल व वाटर प्यूरिफायर की व्यवस्था प्लेटफॉर्मों पर की गयी है. लेकिन, जंक्शन के सभी प्लेटफॉर्मों पर लगाये गये वाटर प्यूरिफायर महीनों से खराब हैं. इससे यात्रियों को प्लेटफॉर्म पर मुफ्त में पीने का पानी नहीं मिल रहा है. मजबूरन यात्रियों को पांच या आठ रुपये में पानी खरीद कर पीना पड़ रहा है.
मेंटेनेंस के अभाव में खराब हैं वाटर प्यूरिफायर : वित्तीय वर्ष 2016-17 में इरकॉन कंपनी ने सीएसआर के तहत करोड़ रुपये खर्च कर जंक्शन के प्रत्येक प्लेटफॉर्म पर वाटर प्यूरिफायर लगाया. यात्री सुविधाओं को देखते हुए प्रत्येक प्लेटफॉर्म पर दो-दो वाटर प्यूरिफायर लगाये गये. पर रेलवे प्रशासन ने प्यूरिफायर के मेंटेनेंस की कार्ययोजना तैयार नहीं की. इसी कारण ये अक्सर खराब ही रहते हैं.
नहीं सुने आदेशप्लेटफॉर्म संख्या-छह-सातव आठ-नौ से अधिकतर मेमू ट्रेनें आती-जाती हैं. इन ट्रेनों से सफर करने वाले 90 प्रतिशत यात्री खरीद कर पानी नहीं पीते हैं. यह स्थितितब है, जब खराब वाटर प्यूरिफायरको देख कर डीआरएम रंजन प्रकाश ठाकुर ने संबंधित अधिकारियों को फटकार लगाते हुए निर्देश दियाथा कि मुफ्त पानी की व्यवस्था बिगड़नी नहीं चाहिए. इसके बावजूद प्लेटफॉर्म का एक भी वाटर प्यूरिफायर ठीक नहीं है.
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