नयी दिल्लीे : बसपा सुप्रीमो मायावती और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने आज साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस करके लोकसभा चुनाव 2019 के लिए गठबंधन की घोषणा कर दी. मायावती ने कहा कि यह गठबंधन पीएम मोदी और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह यानी गुरु-चेले की नींद उड़ाने वाला है. उन्होंने कहा कि जनहित ‘स्टेट गेस्ट हाउस कांड’ से ऊपर है, इसलिए मैंने उसे भुलाकर सपा के साथ गठबंधन का फैसला किया है. मायावती ने बताया कि सपा-बसपा के बीच सीटों को लेकर भी समझौता हो गया है और दोनों पार्टियां 38-38 सीटों पर चुनाव लड़ेंगी. दो-दो सीट सहयोगी पार्टी और कांग्रेस के लिए छोड़ दिया गया है.
BSP Chief Mayawati: Ye Pradhanmantri Modi ji ki or BJP ke national president Amit Shah, in dono Guru-chele ki neend udane wali press conference hai. pic.twitter.com/0r9VPL4bYW
— ANI (@ANI) January 12, 2019
मायावती ने कहा कि नरेंद्र मोदी के तानाशाही रवैये से पूरा देश परेशान है.जातिवाद, संप्रदायवाद की देश में अति हो गयी है, ऐसी स्थिति में देश को सपा-बसपा गठबंधन से काफी उम्मीदें हैं. यह राजनीतिक क्रांति का युग है और जनविरोधी पार्टी को सत्ता से दूर रखना हमारा लक्ष्य.
मायावती ने कहा कि इस गठबंधन में कांग्रेस को शामिल नहीं किया गया है. मायावती ने कांग्रेस और भाजपा पर हमला बोलते हुए कहा कि दोनों की नीतियां एक जैसी हैं. कांग्रेस ने देश में इमरजेंसी लागू किया था और भाजपा ने अघोषित इमरजेंसी लागू कर रखा है. मायावती ने इस बात को साफ नहीं किया कि अगर वे लोकसभा चुनाव लड़ेंगी तो कहां से लड़ेंगी. मायावती ने कहा कि इस गठबंधन का भविष्य उज्ज्वल है और आने वाले विधानसभा चुनाव में भी हम साथ होंगे.
प्रेस कॉंन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि मायावती का सम्मान मेरा सम्मान है. यदि कोई उनका अपमान करेगा तो वह मेरा अपमान होगा. अखिलेश यादव ने इस गठबंधन के लिए मायावती का शुक्रिया अदा किया और कहा कि यह गठबंधन मजबूत है. अखिलेश ने कहा कि भाजपा के अत्याचार से लोगों को मुक्त कराने के लिए यह गठबंधन बना है और हम साथ हैं.
-मायावती ने कहा, 38-38 सीटों पर चुनाव लड़ेगी सपा-बसपा, पीएम पद के लिए अखिलेश करेंगे ‘बुआ’ का समर्थन
-मायावती ने कहा हमारा गठबंधन लंबा चलेगा, लोकसभा चुनाव के बाद विधानसभा चुनाव में भी हम साथ हैं
-मायावती चुनाव लड़ेंगी या नहीं अभी घोषणा नहींकी
– भाजपा के शासन का अंत सुनिश्चित
-भविष्य में हमारे संबंध और भी मजबूत होंगे-अखिलेश यादव
– मायावती का सम्मान मेरा सम्मान है-अखिलेश यादव
-भाजपा धार्मिक उन्माद फैला रही है
–मायावती को भाजपा के नेताओंने अपमानित किया है
-भाजपा के अत्याचारोंसे आम जनता को मुक्ति दिलाने के लिए, सपा-बसपा एक हुई है
-प्रदेशमें कानून -व्यवस्था की स्थिति बहुत ही खराब है
– अखिलेश यादव ने मायावती का शुक्रिया कहा
-मायावती ने कहा, सीट बंटवारे पर बातचीत हो चुकी है, हम और किसी पार्टी से गठजोड़ नहीं करेंगे
-कांग्रेस ने देशमेंइमरजेंसी लगाया था और भाजपा अघोषित इमरजेंसी के साथ शासन चला रही है
-कांग्रेस-भाजपा की नीतियां एक जैसी है
-‘सपा-बसपा गठबंधन भाजपा को केंद्र की सत्ता से दूर रखेगा, कांग्रेस महागठबंधन में शामिल नहीं
-सपा-बसपा गठबंधन भाजपा को केंद्र की सत्ता से दूर रख सकता है-मायावती
-जनविरोधी पार्टी को सत्ता से दूर रखना हमारा लक्ष्य-मायावती
-आज देश मेंराजनीतिक क्रांति का दौरा है-मायावती
-सपा-बसपा गठबंधन से देशको बहुत उम्मीद है -मायावती
– नरेंद्र मोदी के तानाशाही रवैये से देशपरेशान है-मायावती
-भाजपा एक घोर जातिवादी पार्टी है , जिसे सत्ता से दूर रखना जरूरी है
-मायावती ने कहा ‘स्टेट गेस्ट हाउस कांड’ से ऊपर है जनहित, इसलिएहमने सपा से गठबंधन का फैसला किया
-मायावती और अखिलेश यादव कर रहे हैं साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस, मायावती ने कहा मोदी-शाह की नींद उड़ेगी
लखनऊ : देश की राजनीति में आज एक बहुत बड़ी घटना हो रही है, उत्तर प्रदेश की राजनीति में कभी धुर विरोधी रही पार्टियां सपा और बसपा आज एक साथ आ रही हैं. बताया जा रहा है कि अखिलेश यादव साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस से पहले मायावती से मुलाकात करेंगे. मायावती के आवास पर आज उतनी चहल-पहल तो नहीं दिख रही है, लेकिन उनके सिपहसालार सतीश शर्मा उनसे मिलने आ चुके हैं.
SP-BSP posters and party flags seen in Lucknow. Akhilesh Yadav and Mayawati will jointly address the media later today pic.twitter.com/bfxRUVMJcx
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) January 12, 2019
इस बार भी हमारा गणित सटीक बैठेगा और भाजपा को हार का मुंह देखना पड़ेगा . दूसरी तरफ इस महागठबंधन को लेकर राष्ट्रीय लोक दल के अजीत सिंह ने कहा, हम महागठबंधन का हिस्सा हैं. सीट बंटवारे को लेकर अबतक हमने कोई चर्चा नहीं की मायावती और अखिलेश जी बंटवारे को लेकर फैसला लेंगे. कांग्रेस इस गठबंधन का हिस्सा होगी या नहीं यह इसका फैसला अखिलेश जी करेंगे.