22.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

डायन का अस्तित्व

आये दिन ‘डायन’ की खबरें अखबारों की सुर्खियों में होती हैं. डायन की अवधारणा मानव सभ्यता के आदि युग का हिस्सा है. उस वक्त जब मनोरंजन के साधनों की कमी थी, तब ‘डायन’ कहानियों के केंद्र में थी. आश्चर्य यह कि तब से अब तक न ‘डायन’ बदली, न ही डायन होने का पुख्ता सबूत […]

आये दिन ‘डायन’ की खबरें अखबारों की सुर्खियों में होती हैं. डायन की अवधारणा मानव सभ्यता के आदि युग का हिस्सा है. उस वक्त जब मनोरंजन के साधनों की कमी थी, तब ‘डायन’ कहानियों के केंद्र में थी.
आश्चर्य यह कि तब से अब तक न ‘डायन’ बदली, न ही डायन होने का पुख्ता सबूत मिला. आखिर डायन के शक में किसी महिला पर होते अत्याचार पर यह समाज खामोश क्यों रहता है? छह-आठ दशक पहले जन्मे बुजुर्गों के पास भी शायद इसका जवाब न मिल पाये. फिर आज की युवा पीढ़ी तो इस प्रथा से बिल्कुल अनजान है.
ऐसी हत्याओं के पीछे एक अंधविश्वास का भय ही तो है, जो किसी भी अफवाह को हकीकत बना देता है. डायन का अस्तित्व हो न हो, मगर हमारा दिमागी दिवालियापन और अजीबोगरीब सोच का अस्तित्व अब भी बरकरार है. मंगल ग्रह पर पैर जमाने के ख्वाब देखता इंसान डायन के नाम पर महिलाओं की हत्या करे, तो यह निश्चित तौर पर इंसानियत को शर्मसार करता है.
एमके मिश्रा, रातू, रांची

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें