नयी दिल्ली : इंग्लैंड के खिलाफ महिला विश्व टी20 सेमीफाइनल में टीम की सबसे सीनियर खिलाड़ी मिताली राज को विवादास्पद तरीके से जगह नहीं मिलने के बाद प्रशासकों की समिति (सीओए) कप्तान हरमनप्रीत सिंह और मिताली को तलब कर सकती है.
भारत को अंतिम चार के मुकाबले में इंग्लैंड के खिलाफ शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा था. बीसीसीआई के एक शीर्ष अधिकारी के अनुसार मिताली अपना नजरिया लिखित में क्रिकेट संचालन महाप्रबंधक सबा करीम को सौंप सकती हैं जो महिला क्रिकेट के प्रभारी भी हैं.
बीसीसीआई के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम जाहिर नहीं करने की शर्त पर बताया, समझा जाता है कि जल्द ही यहां बैठक होगी और सीओए के हरमनप्रीत, मिताली, रमेश (कोच रमेश पोवार), मैनेजर तृप्ति भट्टाचार्य और दौरा चयनकर्ता सुधा शाह से अलग-अलग बात करने की संभावना है जिससे कि यह समझा जा सके कि आखिर क्यों मिताली को बाहर रखा गया.
सीओए प्रमुख विनोद राय नाखुश हैं कि खिलाड़ियों के एजेंट टीम चयन को लेकर गैरजरूरी टिप्पणी कर रहे हैं. राय ने रविवार को कहा, भारतीय महिला टीम के साथ जुड़े हुए दिख रहे लोगों की टिप्पणी को चिंता के साथ देखा गया है. मीडिया में इस तरह के बयान पूरी तरह से गैरजरूरी थे.
राय का बयान अनीषा गुप्ता नाम की महिला के ट्वीट के संदर्भ में था जिन्होंने दावा किया है कि वह फ्रीलांस पत्रकार हैं और मिताली के लिए विज्ञापन लाती हैं. बाद के डिलीट कर दिए गए ट्वीट में अनीषा ने हरमनप्रीत को ‘धोखेबाज, झूठा और अयोग्य’ करार दिया था.
सीओए प्रमुख ने कहा, खिलाड़ियों की वास्तविक शिकायत के समाधान के लिए बीसीसीआई के पास क्रमानुसार अधिकारी हैं जो विशिष्ट रूप से इस काम के लिए समर्पित हैं.
राय ने महिला टीम के साथ जुड़े लोगों को धैर्य बरतने को कहा. उन्होंने कहा, सभी खिलाड़ियों, टीम प्रबंधन और उनसे जुड़े लोगों को शिष्टाचार बनाए रखना चाहिए और उचित प्रणाली पर चलना चाहिए.
पता चला है कि टीम चयन में कथित भेदभाव पर गौर किया जाएगा. ऐसा इस बात को ध्यान में रखते हुए किया जाएगा कि एकदिवसीय और टी20 अंतरराष्ट्रीय की दोनों कप्तानों के बीच कड़वाहट भरे रिश्तों से भारतीय क्रिकेट जगत के लोग अवगत हैं.