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दिल्ली में स्थिति और खराब, निर्माण कार्य पर रोक लगी, 10 दिनों के लिए प्रदूषण इमरजेंसी
निर्माण कार्य पर रोक लगी, गुरुवार से कई पाबंदियां लागू, ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रैप) लगाया गया दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण का स्तर खतरनाक से बेहद खराब श्रेणी में पहुंच गया है. इसके बाद सरकार ने कुछ इमरजेंसी उपाय लागू किये.इसके साथ ही राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने निर्देश दिया है कि नियमों का उल्लंघन […]
निर्माण कार्य पर रोक लगी, गुरुवार से कई पाबंदियां लागू, ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रैप) लगाया गया
दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण का स्तर खतरनाक से बेहद खराब श्रेणी में पहुंच गया है. इसके बाद सरकार ने कुछ इमरजेंसी उपाय लागू किये.इसके साथ ही राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने निर्देश दिया है कि नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ आपराधिक कार्रवाई की जायेगी. सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड (सीपीसीबी) के मुताबिक जहरीले कणों का हवा में स्तर 469 तक पहुंच गया है जो हफ्तेभर पहले 299.4 था.
खासकर गाजियाबाद, गुरुग्राम और नोएडा में स्थिति काफी खराब है. आनंद विहार में एक्यूआइ 450 दर्ज किया गया, जो स्वस्थ लोगों को प्रभावित तो करेगा ही, पहले से बीमार लोगों पर गंभीर प्रभाव डालेगा. दिल्ली का पीएम2.5, 261 प्वाइंट जबकि पीएम10, 471 प्वाइंट रिकॉर्ड किया गया. वहीं, दिल्ली एनसीआर में पीएम2.5, 254 और पीएम10, 458 प्वाइंट दर्ज किया गया.
सार्वजनिक परिवहन इस्तेमाल करने का आग्रह
पर्यावरण प्रदूषण नियंत्रण प्राधिकरण ने एक नवंबर से निर्माण जैसी कई गतिविधियों को प्रतिबंधित कर दिया है. साथ ही अगले 10 दिनों के लिए सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने के लिए दिल्ली वासियों से आग्रह किया है.
सीपीसीबी ने बनाया सोशल मीडिया अकाउंट
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया कि प्रदूषण की शिकायतें दर्ज कराने के लिये उसने ट्विटर और फेसबुक पर सोशल मीडिया अकाउंट खोला है. इस पर लोग अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं.
धूल व मिट्टी बनी जानलेवा
पीएम2.5 और पीएम 10 सबसे घातक, ब्रॉन्काइटिस, फेफड़ों का कैंसर और दिल की बीमारियों का कारण
50% पीएम 10 का कारण है सड़क की धूल
38% पीएम 2.5 आती है सड़क किनारे खुदे गड्ढों से
आदेशों का अब भी हो रहा उल्लंघन
अब भी कंस्ट्रक्शन मैटेरियल और धूल फैले हैं शहर में
इपीसीए के आदेश के बावजूद नहीं ढंकी गयी निर्माण सामग्री
तोड़ी गयी बिल्डिंगों को खुला छोड़ दिया गया
मलबा फेंकने के लिए अब भी जगह तय नहीं
कंस्ट्रक्शन मैटेरियल खुले ट्रक में ले जाये जा रहे हैं जिससे प्रदूषण फैलता है
मजदूरों को मास्क नहीं दिया गया
131 टन धूल हर दिन घुलते हैं
दिल्ली की हवा में
10 नवंबर तक नरेला की औद्योगिक इकाइयों पर प्रतिबंध, नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ होगी आपराधिक कार्रवाई
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