15.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

पटाखों पर प्रतिबंध. सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली को छोड़ दी राहत

नयी दिल्ली/कोलकाता. सुप्रीम कोर्ट ने दीपावली और अन्य पर्वों पर पटाखे फोड़ने के लिए रात आठ से दस बजे की अवधि निर्धारित करने के अपने आदेश में मंगलवार को संशोधन किया. कोर्ट ने कहा कि राज्य इसके वक्त में बदलाव को स्वतंत्र हैं, परंतु दो घंटे की समय सीमा यथावत रहेगी. जस्टिस एके सीकरी व […]

नयी दिल्ली/कोलकाता. सुप्रीम कोर्ट ने दीपावली और अन्य पर्वों पर पटाखे फोड़ने के लिए रात आठ से दस बजे की अवधि निर्धारित करने के अपने आदेश में मंगलवार को संशोधन किया. कोर्ट ने कहा कि राज्य इसके वक्त में बदलाव को स्वतंत्र हैं, परंतु दो घंटे की समय सीमा यथावत रहेगी. जस्टिस एके सीकरी व जस्टिस अशोक भूषण की पीठ ने यह भी कहा कि हरित पटाखों के उपयोग की अनुमति देने संबंधी निर्देश पूरे देश के लिए नहीं, बल्कि दिल्ली-एनसीआर के लिए है.
देश के अन्य हिस्सों में सामान्य पटाखे छोड़ने का मामला कोर्ट ने राज्यों पर छोड़ दिया. दरअसल, तमिलनाडु सरकार ने कोर्ट से अनुरोध किया था कि राज्य की धार्मिक परंपरा के अनुसार जनता को दीपावली की सुबह साढ़े चार बजे से साढ़े छह बजे तक पटाखे फोड़ने की अनुमति मिले. पटाखा निर्माताओं ने भी कहा कि उनके लिए इस दीपावली पर हरित पटाखे बनाना संभव नहीं है.
उधर, दिल्ली के साथ ही कोलकाता में भी वायु प्रदूषण की स्थिति बेहद गंभीर हो गयी है. दिल्ली एक तरह से गैस चैंबर बन गयी है. तमाम वैज्ञानिक पैमाने दिखा रहे हैं कि हवा भयंकर रूप से जहरीली हो गयी है. ये हाल तब है जब दिवाली नहीं आयी है. लेकिन अब नौबत स्कूल बंद करने और खुद को घरों में बंद करने की आ गयी है. इसके साथ ही राजधानी के लोगों को सलाह दी गयी है कि वे पूजा-पाठ में इस्तेमाल की जाने वाली धूप-अगरबत्ती आदि भी ना जलाएं.
सीपीसीबी में वायु गुणवत्ता प्रबंधन डिविजन के पूर्व अतिरिक्त निदेशक डी साहा ने कहा कि गंगा के मैदानी इलाकों के साथ पूरे उत्तर भारत में वायु की गुणवत्ता ‘गंभीर’ से ‘बहुत खराब’ है. एसएएफएआर ने एक परामर्श जारी करके दिल्लीवासियों से कहा है कि बचाव के लिए वे केवल धूल से बचाव वाले मास्क पर ही निर्भर नहीं रहें.
धूप-अगरबत्ती भी नहीं जलाने की सलाह
कोर्ट ने स्पष्ट किया कि रात की बजाय सुबह में पटाखे छोड़ने की छूट केवल दक्षिणी राज्यों के लिए है. इस दौरान याचिकाकर्ता ने जब यह कहा कि दिल्ली में भी दक्षिण भारत के लोग सुबह में दीपावली मनाते हैं, तो कोर्ट ने कहा कि दिल्ली में जो भी रह रहा हो, उसे स्थानीय समय के अनुरूप ही दीपावली मनानी चाहिए. इसी तरह, दक्षिण में रहने वाले उत्तर भारत के लोगों को सुबह में मनाना चाहिए.
घर में लगाते रहें गीला पोछा
इसमें कहा गया कि यदि कमरे में खिड़कियां हैं तो उन्हें बंद कर दें. यदि एयर कंडीशनर में ताजा हवा की सुविधा है तो उसे बंद कर दीजिये तथा कोई भी चीज जलाने से बचें जिसमें लकड़ी, मोमबत्ती और यहां तक कि अगरबत्ती भी शामिल है. परामर्श में समय-समय पर गीला पोछा लगाने और बाहर जाने पर एन..95 या पी..100 मास्क का इस्तेमाल करने को कहा गया है.
राष्ट्रपति-प्रधानमंत्री आवास की भी हवा ‘जहरीली’
दिल्ली की हवा में इतना जहर घुल चुका है कि आम आदमी तो बेहाल है ही. न प्रधानमंत्री चैन की सांस ले सकते हैं और न राष्ट्रपति. इंडिया गेट पर पीएम 10 की मात्रा 500 के पार है. राष्ट्रपति भवन के सामने पीएम 10 की मात्रा 497 तक पहुंच गयी है. संसद के सामने पीएम 10 की मात्रा 497 है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें