पटना : क्या मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भाजपा से संबंध विच्छेद कर राजद से सुलह करना चाहते हैं? प्रशांत किशोर ने राजद से संपर्क कर सुलह की कोशिश की है? रिपोर्ट के मुताबिक, प्रशांत किशोर ने वर्ष 2018 में नीतीश और राजद नेताओं के बीच सबकुछ ठीक करने के लिए तीन बार मुलाकात कर सुलह की कोशिश की थी. हालांकि, तेजस्वी यादव ने लोगों के सामने छवि बिगाड़ने का हवाला देते हुए सुलह पर विचार करने से इनकार कर दिया. वहीं, तेजप्रताप ने तो अपने घर पर नीतीश कुमार के लिए ‘नो इंट्री’ का बोर्ड ही लगा दिया.
अंगरेजी अखबार टेलिग्राफ में छपी खबर के मुताबिक, वर्ष 2018 में नीतीश कुमार और लालू प्रसाद यादव के बीच सबकुछ ठीक करने की कोशिश करते हुए तीन बार मुलाकात की थी. हालांकि, इन खबरों का खंडन लगातार होता रहा है कि ऐसी कोई बात नहीं है. मालूम हो कि पिछले साल 2017 में 26 जुलाई को राजद-जदयू-कांग्रेस के महागठबंधन से अलग होकर जदयू ने भाजपा के साथ मिल कर सरकार बनायी थी.
कब-कब हुई प्रशांत किशोर की राजद नेताओं से मुलाकात
पहली मुलाकात के संबंध में बताया जा रहा है कि दिल्ली में इलाज के लिए भर्ती लालू प्रसाद यादव से प्रशांत किशोर ने मुलाकात की थी. उस समय बिहार में सांप्रदायिक तनाव की खबरें चर्चा में थीं. भाजपा के कई नेताओं पर भी तरह-तरह के सवाल उठने लगे थे. केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे के पुत्र अर्जित शाश्वत को गिरफ्तार करने में पुलिस को करीब 15 दिन लग गये थे. राजद सूत्रों के मुताबिक, अप्रैल के आखिरी सप्ताह में प्रशांत किशोर ने सुलह का प्रस्ताव लेकर मिलने के लिए गये थे, हालांकि ऐसा नहीं हो सका.
दूसरी मुलाकात प्रशांत किशोर ने तेजस्वी यादव से दो जुलाई को की थी. सूत्र ने दावा किया है कि नीतीश ने यहां तक प्रस्ताव दिया था कि गठबंधन होने की स्थिति में तेजस्वी को एक बड़े नेता के रूप में प्रस्तुत किया जायेगा. करीब घंटे भर तक चली बैठक का नतीजा इसलिए नहीं निकला कि तेजस्वी ने लोगों के सामने छवि बिगाड़ने का हवाला देते हुए सुलह पर विचार करने से इनकार कर दिया था. वहीं, तेजप्रताप ने तो अपने घर पर नीतीश कुमार के लिए ‘नो इंट्री’ का बोर्ड ही लगा दिया.
खबर के मुताबिक प्रशांत किशोर की राजद नेता से तीसरी मुलाकात उस समय हुई थी जब लालू प्रसाद मुंबई स्थित एशियन हर्ट इंस्टीट्यूट में इलाज कराने के लिए अगस्त में भर्ती हुए थे. यहां लालू प्रसाद यादव से मुलाकात किये जाने के बाद राजद अध्यक्ष सुलह पर आगे बढ़ने की दिशा में विचार भी करने लगे थे. वहीं, बताया जाता है कि लालू प्रसाद यादव की पत्नी राबड़ी देवी ने सुलह से इनकार करते हुए एलान कर दिया कि महागठबंधन में नीतीश की वापसी संभव नहीं है. साथ ही लालू परिवार पर आये संकट के लिए नीतीश कुमार को ही जिम्मेदार मानती हैं.