कार्रवाई. बहादुरपुर हाउसिंग कॉलोनी के अर्चना प्रिंटिंग प्रेस में हुई छापेमारी
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ब्रांडेड कंपनियों के नकली रैपर बरामद
कार्रवाई. बहादुरपुर हाउसिंग कॉलोनी के अर्चना प्रिंटिंग प्रेस में हुई छापेमारी एक लाख से अधिक की संख्या में छपे नकली रैपर व मशीन बरामद एक संदिग्ध हिरासत में हो रही पूछताछ पटना सिटी : अगमकुआं थाना क्षेत्र की बहादुरपुर हाउसिंग कॉलोनी के सेक्टर तीन में संचालित अर्चना प्रिंटिंग प्रेस में शनिवार की दोपहर में पुलिस […]
एक लाख से अधिक की संख्या में छपे नकली रैपर व मशीन बरामद
एक संदिग्ध हिरासत में हो रही पूछताछ
पटना सिटी : अगमकुआं थाना क्षेत्र की बहादुरपुर हाउसिंग कॉलोनी के सेक्टर तीन में संचालित अर्चना प्रिंटिंग प्रेस में शनिवार की दोपहर में पुलिस ने छापेमारी की. दरअसल मो मुस्तफा हुसैन ने शिकायत दर्ज करायी थी कि ब्रांडेड दवा कंपनियों के रैपर व एमआरपी स्टीकर, विक्स वेपोरव का रैपर, आई ड्रॉप का रैपर व मरहम का रैपर समेत अन्य तरह की छपाई हो रही थी. इसी शिकायत के आधार पर थानाध्यक्ष कामाख्या नारायण सिंह के नेतृत्व में पुलिस टीम ने छापेमारी की. छापेमारी के दरम्यान ब्रांडेड कंपनियों के छपे रैपर के सीट को बरामद किया गया. थानाध्यक्ष ने बताया कि लगभग एक लाख से अधिक की संख्या में छपे रैपर को बरामद किया गया है. थानाध्यक्ष की मानें तो एक सीट में सैकड़ों की संख्या में छपे रैपर शामिल हैं. हालांकि जिस समय छापेमारी हुई,
उस समय वहां काम कर रहे कर्मी फरार हो गये. पुलिस इस मामले में एक संदिग्ध को हिरासत में लेकर जांच- पड़ताल कर रही है. थानाध्यक्ष ने बताया कि प्रिंटिंग प्रेस को जब्त कर सील कर दिया गया है. साथ ही छपे रैपर को भी बरामद किया गया है. थानाध्यक्ष ने बताया कि इस मामले में प्रिंटिंग प्रेस के संचालक मनोज के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गयी है. उसकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है. थानाध्यक्ष की मानें तो कॉपी राइट एक्ट व ट्रेड मार्क एक्ट के तहत धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर कार्रवाई की जायेगी. पुलिस टीम सूचना के आधार पर जब वहां छापेमारी के लिए पहुंची, तो टीम के पहुंचते ही अफरा-तफरी मच गयी.
नकली दवाओं में इन रैपरों का हो रहा इस्तेमाल
पुलिस की मानें तो प्रिंटिंग प्रेस में छपे ब्रांडेड कंपनी के दवाओं के रैपर का इस्तेमाल नकली दवा बनाने के बाद उसकी पैकिंग में उपयोग के लिए होता होगा. पुलिस ने बताया कि इस मामले में जुड़े धंधेबाजों के तार को खोजने का काम भी चल रहा है ताकि यह पता चल सके कि प्रिंटिंग प्रेस में किसके कहने पर यह छपाई हो रही थी. रैकेट से जुड़े सदस्यों व प्रिंटिंग प्रेस के संचालक की गिरफ्तारी के लिए पुलिस टीम कार्य करने की बात कह रही है. पुलिस टीम हिरासत में लिये गये संदिग्ध से भी पूछताछ कर रही है. बताते चलें कि ब्रांडेड कंपनी के स्टीकर व रैपर छापने का मामला नया नहीं है, इससे पहले भी दूसरे थाना क्षेत्रों में पुलिस टीम ने छापेमारी कर मामले को उजागर किया था.
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