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जून में परिवहन श्रमिकों ने किया हड़ताल का आह्वान

कोलकाता : केंद्र सरकार की ओर से प्रस्तावित परिवहन बिल व राज्य सरकार की कथित परिवहन श्रमिक विरोधी नीतियों के खिलाफ वामपंथी श्रमिक संगठनों सीटू, एटक व एआइसीसीटूयी ने 26 अप्रैल को परिवहन भवन अभियान तथा जून माह में परिवहन श्रमिकों की देशव्यापी हड़ताल का आह्वान किया है. सीटू के महासचिव अनादि साहू, एटक के […]

कोलकाता : केंद्र सरकार की ओर से प्रस्तावित परिवहन बिल व राज्य सरकार की कथित परिवहन श्रमिक विरोधी नीतियों के खिलाफ वामपंथी श्रमिक संगठनों सीटू, एटक व एआइसीसीटूयी ने 26 अप्रैल को परिवहन भवन अभियान तथा जून माह में परिवहन श्रमिकों की देशव्यापी हड़ताल का आह्वान किया है.

सीटू के महासचिव अनादि साहू, एटक के सचिव नवल किशोर श्रीवास्तव, एआइसीसीयूटी के दिवाकर भट्टाचार्य व नेपाल देव भट्टाचार्य की उपस्थिति में परिवहन श्रमिकों का सम्मेलन आयोजित किया गया है. इसमें सभी श्रमिक नेताओं ने अपने वक्तव्य रखे तथा सम्मेलन में केंद्र व राज्य सरकार की नीतियों के खिलाफ एक प्रस्ताव पारित किया गया है. इसमें कहा है कि प्रस्तावित परिवहन बिल के खिलाफ संसद अभियान, कानून तोड़ो अभियान, धरना के साथ-साथ दो बार परिवहन श्रमिक हड़ताल भी बुलायी गयी, लेकिन इसके बावजूद केंद्र सरकार द्वारा लोकसभा में एकतरफा रूप से विधेयक पारित किया गया. राज्यसभा में विधेयक विचाराधीन है. राज्यसभा में विधेयक पारित होने के बाद यह कानून बन जायेगा. श्रमिक संगठन इस प्रस्तावित कानून का विरोध कर रहे हैं, क्योंकि इसमें कहा गया है कि ड्राइविंग लाइसेंस के लिए न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता माध्यमिक पास होनी चाहिए. आरटीओ का अस्तित्व समाप्त हो जायेगा. दुर्घटना में किसी की मौत होने पर चालक को सात वर्ष की सजा व तीन लाख रुपये के जुर्माना के प्रावधान के साथ-साथ लाइसेंस रद्द करने की बात कही गयी है. सरकारी सब्सिडी से कोई सरकारी बस नहीं चलेगी. स्थायी श्रमिक नहीं रहेंगे तथा कोई सामाजिक सुरक्षा योजना नहीं दी जायेगी. काम का घंटा व वेतन निजी कंपनी द्वारा निर्धारित किये जायेंगे. सम्मेलन में पारित प्रस्ताव में केंद्र सरकार के इस प्रस्तावित विधेयक को रद्द करने व परिवहन श्रमिकों को न्यूनतम 18 हजार रुपये वेतन देने, दुर्घटना होने पर क्षतिपूर्ति, स्वास्थ्य परिसेवा, पेंशन व अन्य सामाजिक सुरक्षा देने की मांग की गयी है. प्रस्ताव में 10 सूत्रीं मांग की गयी है. इसके साथ ही सम्मेलन में प्रस्तावित आंदोलन के कार्यक्रम भी तय किये गये हैं. इसके तहत केंद्र व राज्य सरकार की परिवहन श्रमिक विरोधी नीति के खिलाफ अप्रैल माह में प्रचार अभियान चलाया जायेगा. 26 अप्रैल को परिवहन श्रमिकों का परिवहन भवन अभियान होगा. इस दिन कॉलेज स्क्वायर से दोपहर दो बजे जुलूस निकलेगा. पंचायत चुनाव के बाद जिला-जिला में आरटीए कार्यालय के सामने प्रदर्शन होगा तथा ज्ञापन दिया जायेगा. मई माह के अंत में कोलकाता में श्रमिक संगठनों का राज्य सम्मेलन होगा तथा जून माह में परिवहन श्रमिकों की देशव्यापी हड़ताल की जायेगी.

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