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चार साल में 12.60 फीसदी बढ़ गयी बेरोजगारों की फौज, उम्मीद अभी बाकी है…

नयी दिल्ली : वर्ष 2014 में देश में नौकरी हासिल करने लायक आबादी का प्रतिशत मात्र 33 था, जो इस साल बढ़कर 45.60 फीसदी हो गया है. एक सर्वेक्षण के मुताबिक, 2018 में देश में रोजगार के अवसर बढ़ने की भी संभावना है. मानव संसाधन क्षेत्र की प्रमुख तकनीकी कंपनी पीपुल स्ट्रांग और भारतीय उद्योग […]

नयी दिल्ली : वर्ष 2014 में देश में नौकरी हासिल करने लायक आबादी का प्रतिशत मात्र 33 था, जो इस साल बढ़कर 45.60 फीसदी हो गया है. एक सर्वेक्षण के मुताबिक, 2018 में देश में रोजगार के अवसर बढ़ने की भी संभावना है. मानव संसाधन क्षेत्र की प्रमुख तकनीकी कंपनी पीपुल स्ट्रांग और भारतीय उद्योग परिसंघ (सीसीआई) के सहयोग से वैश्विक स्तर पर योग्यता का आकलन करने वाली कंपनी व्हीबॉक्स ने अपनी ‘इंडिया स्किल्स रिपोर्ट-2018′ में यह आकलन पेश किया है.

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इस रिपोर्ट को तैयार करने के लिए व्हीबॉक्स ने एक समग्र योग्यता मांग टेस्ट और आपूर्ति रिपोर्ट को संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम, अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (एआईसीटीई), भारतीय विश्वविद्यालय संघ और विभिन्न राज्य सरकारों के साथ साझा किया, जिसका उन्होंने समर्थन किया. रिपोर्ट को तैयार करने के लिए इस टेस्ट का 5200 विश्वविद्यालयों और पेशेवर संस्थानों में प्रसार किया गया. साथ ही, नियोक्ताओं का रुख जानने के लिए 12 प्रमुख उद्योगों के 120 से ज्यादा नियोक्ताओं के बीच प्राथमिक शोध सर्वेक्षण किया गया.

व्हीबॉक्स की इस रिपोर्ट के अनुसार, 2014 में नौकरी हासिल करने योग्य आबादी का प्रतिशत मात्र 33 फीसदी था. इस साल नौकरी हासिल करने योग्य आबादी का प्रतिशत 45.60 फीसदी तक पहुंच गया. यह हाल के कुछ सालों में व्यापक बदलाव को दिखाता है. इसमें भी रोजगार के अवसरों में बढ़ोतरी वाले प्रमुख क्षेत्र इंजीनियरिंग, दवा, कंप्यूटर एप्लीकेशन में परास्नातक और अन्य पेशेवर पाठ्यक्रम से संबद्ध हैं. सर्वेक्षण के मुताबिक, इस साल विभिन्न क्षेत्रों में मौजूद कंपनियों के उम्मीदवारों को भर्ती करने के मामले में पिछले साल के मुकाबले 10 से 15 फीसदी बढ़ोतरी होने की उम्मीद है. इसमें खुदरा, बैंकिंग, वित्तीय सेवा एवं बीमा क्षेत्र में उम्मीदवारों की भर्ती बढ़ने की उम्मीद है.

यह रिपोर्ट तैयार करने में रोजगार सृजन पर ऑटोमेशन के प्रभाव को समझने पर भी ध्यान दिया गया है. रपट के अनुसार, नवोन्मेष से नये-नये क्षेत्रों नई नौकरियां पनपेंगी. सर्वेक्षण में भाग लेने वाले 69 फीसदी लोगों ने साफ तौर पर माना कि ऑटोमेशन का प्रभाव रोजगार पर पड़ा है, 24 फीसदी नियोक्ताओं ने यह संकेत दिया कि भविष्य में आकलन (एनालिटिक्स) क्षेत्र में रोजगार बढ़ेंगे, जबकि 15 फीसदी ने उम्मीद जतायी कि भविष्य में कृत्रिम समझ (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस-एआई) के क्षेत्र में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे.

व्हीबॉक्स के संस्थापक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी निर्मल सिंह ने कहा कि इस साल ‘इंडिया स्किल्स रिपोर्ट’ में रोजगार मिलने के अवसरों में बढ़ोतरी देखी गयी, जो अर्थव्यवस्था के लिए एक अच्छा संकेत है. उच्च और पेशेवर प्रशिक्षण संस्थानों में कौशल विकास के प्रति सरकार के प्रयास अच्छी गुणवत्ता वाले उम्मीदवारों की भर्ती का रास्ता तैयार कर रहे हैं.

उन्होंने कहा कि इसके अलावा सरकार और संस्थानों के प्रयास में भी एक सकारात्मक रुख नजर आ रहा है. एआई, रोबोटिक्स और डाटा एनालिटिक्स के क्षेत्रों से यह संकेत मिल रहा है कि इन क्षेत्रों में करियर बनाने के नये अवसरों में उछाल आने की उम्मीद है.

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