पटना : किडनी की बीमारी से पीड़ित पूर्व केंद्रीय मंत्री और बिहार के जाने-माने नेता रघुनाथ झा का निधन दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल में रविवार की देर रात हो गया. वह 78 वर्ष के थे. राजद प्रमुख लालू प्रसाद को मुख्यमंत्री बनाने में रघुनाथ झा की भूमिका को काफी अहम माना जाता है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पूर्व केंद्रीय मंत्री रघुनाथ झा के निधन पर गहरा शोक एवं दुख व्यक्त किया है. उन्होंने अपने शोक संदेश में कहा है कि ‘रघुनाथ झा एक कुशल राजनेता एवं कर्मठ समाजसेवी थे. उनके निधन से न केवल राजनीतिक, बल्कि सामाजिक क्षेत्रें में भी अपूरणीय क्षति हुई है.’ साथ ही मुख्यमंत्री ने रघुनाथ झा का अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किये जाने की बात कही है. मुख्यमंत्री ने दिवंगत आत्मा की चिर शांति तथा उनके परिजनों, अनुयायियों एवं प्रशंसकों को दु:ख की इस घड़ी में धैर्य धारण करने की शक्ति प्रदान करने की ईश्वर से प्रार्थना की है. रघुनाथ झा एक पुत्र और पुत्री सहित भरा-पूरा परिवार छोड़ गये हैं. रघुनाथ झा के निधन की खबर सुनने के बाद उनके समर्थकों में शोक की लहर है. वहीं, उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने पूर्व केंद्रीय मंत्री श्री रघुनाथ झा के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है. मोदी ने रघुनाथ झा के निधन को बिहार की राजनीति के लिए अपूरणीय क्षति बताते हुए ईश्वर से दिवंगत आत्मा की शांति व समर्थकों, परिजनों को धैर्य प्रदान करने की प्रार्थना की है.
Former Union minister Raghunath Jha passed away at Delhi's Ram Manohar Lohia Hospital last night.
— ANI (@ANI) January 15, 2018
लालू प्रसाद पर परिवार की राजनीति करने का आरोप लगा छोड़ी थी पार्टी
शिवहर के अंबाकला निवासी रघुनाथ झा राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद के काफी करीबी माने जाते थे. वर्ष 2015 में लालू प्रसाद यादव पर पक्षपात करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने राजद छोड़ दी थी. पार्टी छोड़ने से पहले उन्होंने लालू प्रसाद यादव को चिट्ठी लिखकर कहा था. उनका लिखा पत्र उस समय काफी सुर्खियों में भी रहा था. उन्होंने लिखा था, ‘करीब 25 सालों से आपके सुख-दुख में साथ रहा. लेकिन, हाल के दिनों में पार्टी कार्यकर्ताओं के प्रति आपके व्यवहार और मेरे प्रति उपेक्षा के कारण मैं पार्टी की प्राथमिक सदस्यता और राष्ट्रीय उपाध्यक्ष पद से इस्तीफा दे रहा हूं.’ राजद का ब्राह्मण चेहरा माने जानेवाले झा ने लालू प्रसाद यादव पर पार्टी कार्यकर्ताओं और वरिष्ठ नेताओं की कीमत पर ‘परिवार की राजनीति’ में संलिप्त रहने के आरोप लगाये.उन्होंने कहा था, ‘‘लालू प्रसाद का व्यवहार कार्यकर्ताओं और वरिष्ठ नेताओं के प्रति काफी खराब रहा है. वह हमसे कोई विचार या सुझाव नहीं मांगते. उनका पूरा ध्यान अपने परिवार और बच्चों पर और उन्हें राजनीति में आगे बढ़ाने पर है.’
90 के दशक में लोकप्रिय और प्रभावशाली बनकर उभरे थे
शिवहर से छह बार विधायक रहे रघुनाथ झा 1972 में पहली बार विधायक चुने गये थे. वह गोपालगंज और बेतिया से दो बार सांसद भी चुने गये. रघुनाथ झा 90 के दशक में बिहार के सर्वाधिक लोकप्रिय और प्रभावशाली नेता के रूप में उभरे. जनता दल के गठन के बाद पहले प्रदेश अध्यक्ष भी वह चुने गये. उन्होंने मुख्यमंत्री पद की दावेदारी के लिए चुनाव भी लड़ा था. 37 वर्षों के संसदीय जीवन में रघुनाथ झा ने कई महत्वपूर्ण पद संभाले. वह बिहार सरकार में कई बार कई विभागों के मंत्री नियुक्त किये गये. प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की केंद्र सरकार में वह भारी उद्योग राज्य मंत्री भी रहे हैं.