रांची: अब मशीन बतायेगी कि आपने किसे वोट डाला है. यह वोटर वेरिफायड पेपर ऑडिट ट्रायल (वीवीपैट) के जरिये संभव हो पायेगा. आप जैसे ही वोटिंग मशीन में किसी दल के चुनाव चिह्न के आगे बटन दबायेंगे वैसे ही वीवीपैट मशीन की स्क्रीन की बत्ती जल जायेगा, जिसमें एक पेपर आपको स्क्रीन पर दिखेगा.
इस पेपर में आपने जिस दल को वोट दिया है उसका चुनाव चिह्न दिख जायेगा. जिसे आप भी देख पायेंगे. थोड़ी देर बाद वो पेपर कट कर वीवीपैट मशीन में गिर जायेगा. वोट देने व मशीन में देखने तक की प्रक्रिया सात सेकेंड की होगी. वीवीपैट का इस्तेमाल आगामी लोकसभा व विधानसभा चुनाव में किया जाना है. इसका शुक्रवार को लाइव डेमोस्ट्रेशन भी किया गया.
16 अक्तूबर से नये नाम जोड़े जायेंगे : अपर समाहर्ता अंजनी मिश्र व जिला उप निर्वाचन पदाधिकारी गीता चौबे ने बताया कि 16 अक्तूबर से वैसे मतदाताओं के नाम जोड़े जायेंगे जिनकी उम्र 1 जनवरी 2018 को 18 साल हो जायेगी. मतदाता सूची के प्रारूप का प्रकाशन 16 अक्तूबर को होगा. 15 नवंबर तक आपत्ति ली जायेगी. श्रीमती चौबे ने बताया कि मतदाता सूची में नाम शामिल करने के लिए जो आवेदन जमा किये जायेंगे उनमें आधार कार्ड उम्र के लिए मान्य होंगे. आवासीय पता के लिए दूसरे दस्तावेज देने होंगे. बताया कि रांची जिले में 22 मतदान केंद्र बढ़े हैं. इन केंद्रों में 2.01 प्रतिशत मतदाता बढ़े हैं. बताया गया कि केंद्रों का निर्धारण मतदाताओं को ध्यान में रखकर ही किया जाता है. राजनीतिक दलों से सात दिनों में आपत्तियां मांगी गयी है.
पांच राज्यों को नोडल एजेंसी बनाया गया : भारत निर्वाचन आयोग ने झारखंड समेत पांच राज्यों को नोडल एजेंसी बनाया है. इनमें झारखंड के अलावा बिहार, उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़ व ओड़िशा शामिल है. इन राज्यों को रोल आउट करने की जिम्मेवारी दी गयी है. लाइव डेमोस्ट्रेशन में राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों को भी प्रशिक्षण दिया गया. झामुमो के प्रतिनिधि अंतु तिर्की ने वोटिंग मशीन में बस चुनाव चिह्न का बटन दबाया, तो मशीन में एक पर्ची नजर आयी उसमें चुनाव चिह्न हाथी दिखा रहा था. इसके बाद उन्होंने चुनाव चिह्न चश्मा का बटन दबाया तो मशीन मेंं जो पर्ची निकली उसमें चुनाव चिह्न साइकिल दिख रहा था. इस पर जिला उप निर्वाचन पदाधिकारी गीता चौबे ने बताया कि वोटिंग मशीन में जो चुनाव चिह्न है, उसके हिसाब से पर्ची नहीं डाली गयी है, इेेेेस वजह से ऐसा हुआ.