वित्त मंत्री अरुण जेटली ने राज्यों से अपील की कि वे पेट्रोल और डीजल पर बिक्री कर या वैट में कटौती करें, ताकि आम उपभोक्ताओं को ईंधन की ऊंची कीमतों से राहत मिले.
गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने पेट्रोल और डीजल के उत्पाद शुल्क में दो रुपये प्रति लीटर की कटौती की घोषणा की, जिससे उस पर 26000 करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा.
जेटली ने कहा, अब यह राज्य सरकारों पर है कि क्या वे बिक्री कर या वैट में कटौती के मुद्दे को लेकर चिंतित हैं. विपक्षी दलों द्वारा शासित राज्यों का संदर्भ देते हुए उन्होंने कहा कि खासकर केरल और दिल्ली सहित कुछ राज्य सरकारें शुल्कों में कटौती की मांग करती रही हैं. ऐसा इसलिए राज्य सरकारों को अपने खुद के वैट संग्रहण पर विचार करना चाहिए.
वित्त मंत्री जेटली ने इशारों-इशारों में भाजपा शासित राज्यों को भी वैट में कटौती करने को कहा. उन्होंने कहा, मेरी राय में राज्य अपने वित्त का प्रबंध करते हैं और मुझे विश्वास है कि राज्य अपने लोगों के करीब है.
ऐसे में अब उम्मीद की जानी चाहिए कि भारतीय जनता पार्टी की सरकारों वाले राज्यों में पेट्रोल और डीजल और सस्ते हो सकते हैं.भाजपा शासित सभी राज्य पेट्रोल और डीजल पर वैट में भारी कटौती कर सकते हैं. इनमें सबसे पहला राज्य गुजरात बना है. गुजरात की विजय रूपानी सरकार ने संकेत दिया है कि जल्द ही पेट्रोल और डीजल पर वैट में कटौती की जा सकती है.
यहां यह जानना गौरतलब है कि गुजरात में जल्द ही विधानसभा चुनाव होने हैं और चुनाव आचार संहिता लागू होने से पहले राज्य में पेट्रोल-डीजल पर वैट कटौती की घोषणा हो सकती है. बताते चलें कि गुजरात के अलावा, बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थानसहित देश के कुल 16 राज्यों में भारतीय जनता पार्टी या इसके सहयोगी दल सत्ता में काबिज हैं. ऐसे में इन राज्यों में पेट्रोल-डीजल सस्ते होने की खुशखबरी जल्द ही आ सकती है.
इसी बीच पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि राज्यों को पेट्रोल, डीजल पर बिक्री कर में पांच प्रतिशत तक की कटौती करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि जेटली इस बारे में जल्द ही सभी राज्यों को लिखेंगे.
Urge all states to reduce VAT by 5% in line with the cut in Central Excise Duty to provide farmers & consumers with one more slab of relief. pic.twitter.com/KdRcXd45RF
— Dharmendra Pradhan (@dpradhanbjp) October 4, 2017
States are the ultimate beneficiaries of Taxes on Petrol/Diesel & hence should share the responsibility of providing relief to consumers. pic.twitter.com/vLJE3mP4tE
— Dharmendra Pradhan (@dpradhanbjp) October 4, 2017
Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.