शिक्षकों को 1996 से नहीं मिली प्रोन्नति, कई बार वरीयता सूची पारित होने पर भी फंसा पेंच
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प्रोन्नति को लेकर शिक्षक आर-पार की लड़ाई के मूड में
शिक्षकों को 1996 से नहीं मिली प्रोन्नति, कई बार वरीयता सूची पारित होने पर भी फंसा पेंच स्पष्टीकरण मांगे जाने के बाद लौटी ही नहीं फाइल चक्रधरपुर : पश्चिमी सिंहभूम जिले के शिक्षकों को वर्ष 1996 के बाद कोई प्रोन्नति नहीं मिली है. 22 वर्षों के लंबा अंतराल हो गया है. इस बीच सैकड़ों शिक्षक […]
स्पष्टीकरण मांगे जाने के बाद लौटी ही नहीं फाइल
चक्रधरपुर : पश्चिमी सिंहभूम जिले के शिक्षकों को वर्ष 1996 के बाद कोई प्रोन्नति नहीं मिली है. 22 वर्षों के लंबा अंतराल हो गया है. इस बीच सैकड़ों शिक्षक सेवानिवृत्त हो चुके हैं. कई अन्य तो स्वर्गवासी भी हो चुके हैं. सैंकड़ों शिक्षकों की हसरतें पूरी नहीं हो सकी हैं. कई शिक्षकों की तो सेवा की अवधि भी 22 साल नहीं हो पाती है. उन्होंने जिस शिक्षक पद पर ज्वाॅइन किया, उसी से सेवानिवृत्त भी हो गये. इन 22 सालों में सरकार की ओर से दर्जनों बार शिक्षकों को पदोन्नति देने के आदेश भी जारी हुए, लेकिन पश्चिमी सिंहभूम जिला हर बार पिछड़ता रहा. कई बार तो इसके लिए वरीयता सूची भी बनाकर तैयार की गयी,
लेकिन जब वह उच्चाधिकारियों के समक्ष पहुंची तो उस पर कुछ टिप्पणी लिख कर सूची को लौटा दिया गया. फिर एक बार जो सूची वापस लौटी उसके बाद वह अधिकारी तक दुबारा वपस नहीं पहुंची. वर्ष 2008 में भी कुछ ऐसा ही हुआ. उपायुक्त के स्तर से जिला शिक्षा स्थापना समिति से तो सूची को अनुमोदित कर दिया गया, लेकिन आरडीडीई ने कुछ बिंदुओं पर स्थिति स्पष्ट करने की टिप्पणी लिख कर फाइल लौटा दी. इसके बाद आज तक विभाग के किसी पदाधिकारी ने उसका उत्तर तक उन्हें नहीं भेजा, जिसके कारण शिक्षकों की लटकी प्रोन्नति लटकी की लटकी ही रह गयी. इस बार भी कुछ ऐसे ही हालात दिख रहे हैं. पूरे जिले के शिक्षकों की वरीयता सूची बन कर तैयार है. सरकार की ओर से शिक्षकों को प्रोन्नति देने का आदेश भी जारी हो चुका है, लेकिन शिक्षकों को अब तक पदोन्नति नहीं मिल पायी है.
कई जिलों के शिक्षकों को मिल चुकी है प्रोन्नति : प्राथमिक शिक्षा निदेशक के पत्र पर राज्य के कई जिलों में शिक्षकों को प्रोन्नति मिल भी चुकी है. लेकिन पश्चिमी सिंहभूम जिले के शिक्षकों को अभी तक उसका लाभ नहीं मिल पाया है. जिले के शिक्षक अभी प्राथमिक शिक्षा निदेशक के आदेश पर अमल का इंतजार ही कर रहे हैं, उस पर आज तक अमल नहीं हो पाया है.
प्राथमिक शिक्षक संघ आंदोलन के मूड में : झारखंड राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ ने आगामी 5 जुलाई से आंदोलन की घोषणा की है. अपनी एकमात्र प्रोन्नति की मांग को लेकर चार शिक्षक डीएसई कार्यालय के समक्ष आमरण अनशन आरंभ करेंगे. दोपहर 12 बजे से आरंभ होनेवाले इस आंदोलनात्मक कदम को सोशल मीडिया पर व्यापक जन समर्थन भी प्राप्त हो रहा है. शिक्षक सभी प्रखंडों में इसको लेकर बैठकें कर रहे हैं जिनमें आंदोलन में हर तरह से सहयोग करने की पेशकश भी कर रहे हैं. उधर जिला शिक्षक संघ भी इस बार इस मुद्दे पर आर-पार की लड़ाई के मूड में दिख रहा है.
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