रांची: राज्य में 14 से 24 वर्ष की वैसी किशोरी या युवतियां, जिन्होंने किसी कारणवश पढ़ाई छोड़ दी हो, उन्हें अागे पढ़ने व बढ़ने के अवसर मिलेंगे. वह भी अपने आसपास ही. महिला, बाल विकास व सामाजिक सुरक्षा (समाज कल्याण) विभाग विश्व बैंक के सहयोग से तेजस्विनी योजना का संचालन कर रहा है. इस योजना […]
रांची: राज्य में 14 से 24 वर्ष की वैसी किशोरी या युवतियां, जिन्होंने किसी कारणवश पढ़ाई छोड़ दी हो, उन्हें अागे पढ़ने व बढ़ने के अवसर मिलेंगे. वह भी अपने आसपास ही. महिला, बाल विकास व सामाजिक सुरक्षा (समाज कल्याण) विभाग विश्व बैंक के सहयोग से तेजस्विनी योजना का संचालन कर रहा है.
इस योजना के तहत 14 से 24 आयु वर्ग की किशोरी व युवतियां जो आगे पढ़ना चाहती हैं, उन्हें या तो विषय आधारित शिक्षा दी जायेगी, या फिर उनका नामांकन स्कूल या कॉलेज में कराया जायेगा. इसके अलावा यदि वह चाहती हों, तो उन्हें गैर सरकारी संस्थाअों या विशेषज्ञ संस्थानों कम माध्यम से व्यावसायिक कौशल का प्रशिक्षण भी दिया जाना है.
पढ़ाई या प्रशिक्षण सफलतापूर्वक पूरी करने पर लाभुक किशोरियों व युवतियों को सरकार तीन किस्तों में 10 हजार रुपये की प्रोत्साहन राशि डीबीटी के माध्यम से उनके खाते में देगी. इसके बाद उन्हें रोजगार या स्वरोजगार से संबद्ध कराया जायेगा. कुल 17 जिलों में यह योजना चलायी जानी है. पांच वर्ष की इस योजना पर कुल 540 करोड़ रुपये खर्च होंगे. इसमें विश्व बैंक का ऋण तथा राज्य का अंशदान दोनों शामिल है. वहीं पहले चरण में रामगढ़, दुमका, खूंटी व चतरा में यह योजना शुरू होगी. इससे पहले उपरोक्त आयु वर्ग की किशोरियों व युवतियों को तेजस्विनी क्लब बनाकर इससे जोड़ा जाना है.
युवाअों का रुझान जानने के लिए सर्वे : सरकार राज्य भर के युवाअों की पसंद का ट्रेड जानना चाहती है. जिससे पता चल सके कि युवा किस ट्रेड में कौशल विकास का प्रशिक्षण लेना चाहते हैं. इसके लिए प्राइस वाटर हाउस कूपर (पीडब्ल्यूसी) को राज्य भर में सर्वे का काम मिला है. यह अंतरराष्ट्रीय संस्था विभिन्न जिलों में यह सर्वे करेगी. अभी सर्वे के मेकेनिज्म व स्ट्रेटजी संबंधी तैयारी हो रही है. इस सर्वे रिपोर्ट का इस्तेमाल कौशल विकास का कार्य कर रहे विभिन्न विभाग कर सकेंगे. अभी राज्य सरकार अपनी अोर से तय ट्रेड में ही युवाअों को प्रशिक्षित कर रही है.