पटना : दीघा-सोनपुर सड़क पुल के चालू होते ही महात्मा गांधी सेतु के जीर्णोद्धार के लिए उसके ऊपरी स्ट्रक्चर को तोड़ने का काम 15 जून से शुरू हो जायेगा. गांधी सेतु का विकल्प दीघा-सोनपुर जेपी सेतु व आरा-छपरा वीर कुंवर सिंह सेतु के चालू होने का इंतजार था. दोनों सेतु के चालू होने के बाद गांधी सेतु सेतु के जीर्णोद्धार के लिए ऊपरी स्ट्रक्चर को तोड़ने पर सहमति हो गयी है.
यह काम हाजीपुर साइड से पश्चिमी लेन में होगा. इसके लिए 12 स्पैन तक घेराबंदी की गयी है. इसके बाद काम आगे बढ़ने पर आगे घेराबंदी होगी. काम के दौरान सेतु पर वाहनों का परिचालन जारी रहेगा. काम वाले हिस्से से डायवर्सन कर पूर्वी लेन से वाहनों का परिचालन कराया जायेगा.
वाहनों का जारी रहेगा परिचालन
गांधी सेतु पर सभी प्रकार के वाहनों का परिचालन जारी रहेगा. सेतु के जीर्णोद्धार को लेकर एफकॉन्स कंपनी ने पहले से तैयारी कर रखी है. केवल राज्य सरकार से काम करने की अनुमति मिलना बाकी था. ऊपरी स्ट्रक्चर की कटिंग को लेकर तैयारी वाले भाग में बैरिकेडिंग कर लोहे की चादर लगायी गयी है, ताकि पूर्वी लेन में वाहनों का परिचालन सुरक्षित हो सके. सेतु के ऊपरी स्ट्रक्चर को तोड़ने के साथ उसके पुनर्निर्माण का भी काम होगा. पहले से स्पैन संख्या 46 के पास पहले से कटिंग का काम हो चुका है.पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव अमृत लाल मीणा ने बताया कि गांधी सेतु के जीर्णोद्धार के लिए ऊपरी स्ट्रक्चर तोड़ने का काम 15 जून से शुरू होगा.
दो साल में पश्चिमी लेन का काम होगा पूरा
पश्चिमी लेन का काम दो साल में तैयार होगा. पश्चिमी लेन में वाहनों का परिचालन शुरू होने पर पूर्वी लेन को तोड़ा जायेगा. पूर्वी लेन का काम 18 माह में पूरा होगा. गांधी सेतु का ऊपरी स्ट्रक्चर स्टील फेब्रिकेट बनेगा. सेतु के जीर्णोद्धार पर 1382 करोड़ खर्च होंगे.