बहराइच (उत्तर प्रदेश) : कतर्नियाघाट सेंचुरी के जंगलों में पुलिस को आठ साल की एक बच्ची मिली है, जो हूबहू जानवरों की तरह व्यवहार कर रही है और वैसे ही आवाजें निकाल रही है. बच्ची को देखकर मशहूर ‘जंगल बुक’ के काल्पनिक पात्र ‘मोगली’ की याद ताजा होती है. जिला अस्पताल में भर्ती इस बच्ची के बारे में मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. डी के सिंह ने बताया कि बच्ची डाक्टरों, नर्सों या किसी भी इंसान के पास आने पर जानवरों की तरह चिल्ला उठती है.
Girl found in Katarniaghat forests of Uttar Pradesh's Bahraich two months back with habits similar to that of animals. pic.twitter.com/7lQlDYjF6V
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) April 6, 2017
उन्होंने कहा, ‘ना वह किसी की बात समझ पा रही है और ना ही उसकी बात कोई समझ पा रहा है.’ बच्ची के शरीर पर जख्म के निशान हैं, जिससे लगता है कि वह जानवरों के साथ कुछ दिन रही है. जनवरी माह में बच्ची को लकडी बीनने गये गांव वालों ने मोतीपुर रेंज में दर्जनों बंदरों से घिरे देखा.
बच्ची को बचाने की नीयत से निकट जाने की कोशिश की तो बंदरों ने बच्ची को घेर लिया और गांव वालों पर हमलावर हो गये. गांव वालों ने पुलिस को सूचित किया और पुलिस ने किसी तरह बच्ची को वहां से निकालकर जिला अस्पताल में भर्ती कराया.
अपर पुलिस अधीक्षक दिनेश त्रिपाठी ने आज बताया कि अस्पताल में भर्ती इस बच्ची के माता पिता के बारे में अभी कोई जानकारी नहीं मिल सकी है. उसके हाव भाव देखकर लगता है कि वह बंदरों के बीच लंबे समय से रह रही थी.
बच्ची जंगल में नग्नावस्था में बंदरों के बीच पायी गयी थी. उसके बाल और नाखून बढ़े हुए थे और शरीर पर कई जगह जख्म थे. उन्होंने कहा कि हमारी प्राथमिकता बच्ची का समुचित इलाज कराना और उसके माता पिता को खोजना है.