बिहार की जनता हर बार की तरह इस बार भी उन्हें पटखनी दी है. अब बिहार दिवस तक राज्य में नशामुक्ति जागरूकता अभियान चलेगा और 22 मार्च को ये अभियान समाप्त होगा. इस सामाजिक अभियान के लिए बिहार ने इतिहास रचा है, जो कि हमेशा से याद रहेगा.
मानव शृंखला के दौरान लोगों का उत्साह देखते ही बन रहा था और समाज में हर वर्ग के लोग शामिल हुए. 11,292 किलोमीटर रूट का निर्धारण किया गया था, जिसमें तीन करोड़ से अधिक लोग शामिल हुए. उन्होंने कहा कि कानून और नियम बनाने के लिए बिहार सरकार और उसकी एजेंसियां हैं. किस मद में किसको कितनी राशि मिलनी और कब मिलनी है, ये सरकार तय करेंगी, न कि आप. अगले पांच सालों में सूबे के 68 लाख से अधिक 12वीं पास युवकों को रोजगार खोजने के लिए एक-एक हजार स्वयं सहायता भत्ता मिलना है.