जमशेदपुर : टाटा स्टील के न्यू सीरीज (एनएस) ग्रेड के सुरक्षाकर्मियों को अपनी नयी पहचान मिल गयी है. इसको लेकर करीब तीन साल से संघर्षरत थे. सहायक सचिव कमलेश सिंह के दबाव के बाद शुरू हुई वार्ता के बाद बुधवार को इसका स्थायी हल निकल गया और सुरक्षाकर्मियों के अलावा श्वान और फायर सर्विसेज के भी एनएस ग्रेड के कर्मचारियों की पहचान बन गयी है. इसको लेकर बुधवार को निर्णायक बातचीत हुई.
बातचीत में यूनियन के अध्यक्ष आर रवि प्रसाद, डिप्टी प्रेसिडेंट संजीव चौधरी टुन्नू, महासचिव बीके डिंडा, सहायक सचिव कमलेश सिंह समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद थे. मौके पर एक समझौता पर हस्ताक्षर हुआ, जिसके तहत एनएस ग्रेड के कर्मचारियों का नया पदनाम बना दिया गया. सिक्यूरिटी और फायर ब्रिगेड के कर्मचारियों का पदनाम सिपाही होता है. यह पदनाम पुराने ग्रेड के कर्मचारियों को हासिल था, लेकिन सिक्यूरिटी और फायर ब्रिगेड में बहाल होने वाले एनएस ग्रेड के कर्मियों को यूटिलिटी हैंड पदनाम मिला हुआ है.
अन्य विभागों में भी यही पदनाम मिला हुआ है. उनके लिए वहां अलग से प्रमोशन पॉलिसी बनी हुई है, लेकिन सिक्यूरिटी और फायर ब्रिगेड में उनके प्रमोशन का मार्ग अवरुद्ध था. उन्हें सिपाही का पदनाम नहीं मिला था, जबकि वे काम सिपाही का करते थे. अब उनके साथ न्याय हो पाया है.
कमलेश का दबाव काम आया : सिक्यूरिटी सेचुनाव जीतकर आने वाले सहायक सचिव कमलेश सिंह के दबाव के आगे मैनेजमेंट व यूनियन को झुकना पड़ा. पहले तो कई तरह से नाम दिये जा रहे थे. इसको लेकर कमलेश सिंह ने सारे कमेटी मेंबरों के साथ मीटिंग की. इस मीटिंग के बाद कमलेश सिंह ने विटो पावर लगा दिया, जिसके बाद नये नाम को फाइनल किया गया. कमलेश सिंह ने इसके लिए यूनियन के प्रति आभार जताया है और मैनेजमेंट के अधिकारियों के प्रति भी खुशी जाहिर की है.