घायलों में तीन मगध मेडिकल, गया रेफर
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बोलेरो पेड़ से टकरायी, दो की मौत व पांच लोग जख्मी
घायलों में तीन मगध मेडिकल, गया रेफर औरंगाबाद/हसपुरा : हसपुरा-पचरूखिया रोड में इटवा सलेमपुर गांव के बीच पचरूखिया की ओर जा रही एक बोलेरो ताड़ के पेड़ से टकरा गयी. इसमें बोलेरो चालक सहित सात लोग गंभीर रूप से घायल हो गये. घायलों में एक ने घटनास्थल पर, तो दूसरे व्यक्ति ने अस्पताल में पहुंचने […]
औरंगाबाद/हसपुरा : हसपुरा-पचरूखिया रोड में इटवा सलेमपुर गांव के बीच पचरूखिया की ओर जा रही एक बोलेरो ताड़ के पेड़ से टकरा गयी. इसमें बोलेरो चालक सहित सात लोग गंभीर रूप से घायल हो गये. घायलों में एक ने घटनास्थल पर, तो दूसरे व्यक्ति ने अस्पताल में पहुंचने के बाद दम तोड़ दिया. मृतकों में 45 वर्षीय राजेंद्र पासवान व 60 वर्षीय राम प्रवेश पासवान मखरा टोले अयोध्या बिगहा के रहनेवाले थे.
वहीं, गंभीर रूप से घायलों में बोलेरो चालक सह कुटी व्यवसायी डबलू महतो निवासी अयोध्या बिगहा, राम प्रवेश राजवंशी निवासी सिहाड़ी व विफन राजवंशी निवासी फतेहपुर को चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार के बाद बेहतर इलाज के लिए मगध मेडिकल कॉलेज, गया रेफर कर दिया, जबकि जख्मी रामश्रृंगार राजवंशी व बालेश्वर राजवंशी निवासी फतेहपुर का इलाज रेफरल अस्पताल, हसपुरा में किया जा रहा है.
जानकारी के अनुसार, कुटी व्यवसायी व बोलेरो मालिक डबलू महतो गोह थाना क्षेत्र के बुधई गांव से कुटी का कारोबार कर शुक्रवार की अहले सुबह करीब साढ़े तीन बजे अपने गांव अयोध्या बिगहा मजदूरों को लेकर लौट रहा था. तेज रफ्तार से जा रही बोलेरो अचानक अनियंत्रित होकर एक ताड़ के पेड़ से टकरा गयी. इससे बोलेरे में बैठे सभी लोग जख्मी हो गये.
घटना के कुछ देर बाद जानकारी पाकर अयोध्या बिगहा, फतेहपुर, सिहाड़ी गांव से मृतक व घायलों के परिजन अस्पताल पहुंचे व घटना की पूरी जानकारी ली. देखते-देखते अस्पताल परिसर में सैकड़ों लोगों की भीड़ लग गयी. ग्रामीण मिथलेश पासवान, नवलेश यादव, महेंद्र पासवान,राजू महतो, सुरेंद्र प्रसाद, मुन्ना महतो व पिंटू महतो आदि लोगों ने अस्पताल की व्यवस्था पर आक्रोश जताया. काफी देर तक मृतकों व जख्मियों के परिजनों ने अस्पताल परिसर में हंगामा किया.
चिकित्सकों पर इलाज में लापरवाही का आरोप भी लगाया. आक्रोशितों का कहना था कि अस्पताल में जख्मियों के इलाज के दौरान कोई भी डॉक्टर नहीं थे. डॉक्टर के विलंब से पहुंचने पर ही रामप्रवेश पासवान की मौत हो गयी. अगर, डाॅक्टर रहते तो रामप्रवेश को बचाया जा सकता था. इधर, घटना व हंगामा की सूचना पाकर हसपुरा थाना की पुलिस पहुंची व लोगों को शांत कराया. जैसे ही रामप्रवेश पासवान व राजेंद्र पासवान की मौत की सूचना परिजनों को लगी,
वैसे ही पत्नी जितिया देवी, गोतिनी आशा देवी, राम प्रवेश पासवान की पत्नी सुमित्रा देवी, पुत्र राजेश पासवान, मनोज पासवान व बेटी सरोज देवी बदहवास हालत में अस्पताल पहुंची व शव देखते ही दहाड़ मारकर गिर पड़ी. परिजनों की चीत्कार से अस्पताल परिसर गूंजने लगा. आखिरकार शव को पोस्टमार्टम के लिए औरंगाबाद भेजा गया. पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया.
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