नयी दिल्ली : सुधार के मोर्चे पर प्रगति से वृहत-आर्थिक स्थिति में सुधार और राज्य सभा के संयोजन में बदलाव से जीएसटी और दिवाला एवं शोधन अक्षमता संहिता जैसे प्रमुख विधेयकों को पारित कराने में मदद मिलेगी. यह बात डीबीएस ने एक रपट में कही. बजट सत्र का दूसरा चरण आज शुरू हुआ. वैश्विक वित्तीय सेवा कंपनी के मुताबिक बजट सत्र का दूसरा चरण भी काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि अब महत्वपूर्ण दिवाला शोधन अक्षमता संहिता और वस्तु एवं सेवा कर विधेयक पर फिर से ध्यान दिया जाएगा.
डीबीएस ने कहा, ‘उत्साहजनक संकेत हैं कि संशोधित दिवाला शोधन अक्षमता विधेयक संसद में इस सप्ताह पेश किया जाएगा और इस पर व्यापक सहमति बन चुकी है.’ उन्होंने कहा, ‘’सत्ताधारी सरकार का राज्य सभा में बहुमत नहीं है लेकिन ऐसी अटकलें हैं कि इस साल दूसरी छमाही में कुछ सांसदों के सेवानिवृत्त होने और नये सांसदों के आने से विपक्ष की मजबूती कम होगी और यह वस्तु एवं सेवा कर के पक्ष में समर्थन बढेगा.’