पटना : बिहार में 16 वीं विधानसभा का दूसरा सत्र कल यानी 25 फरवरी से शुरू हो रहा है. ऐसे कयास लगाये जा रहे हैं कि यह सत्र काफी हंगामेदार होगा. बिहार के कई ऐसे मुद्दे हैं जिसे लेकर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तकरार बढ़ेगी. कानून-व्यवस्था के साथ बिहार में धान खरीद में घोटाला और कपड़े पर लगाये गये वैट को लेकर विपक्षी सदन का वॉकआउट कर सकते हैं. साथ ही सत्ता पक्ष के कुछ विधायकों का मसला भी सदन में चर्चा का विषय बन सकता है. पहले दिन राज्यपाल रामनाथ कोविंद के अभिभाषण से सत्र की शुरूआत होगी. उसके बाद राज्य में आर्थिक सर्वेक्षण पेश किया जाएगा.
सत्र में सूबे में पंचायत चुनाव, बालू संकट और छात्रवृति वितरण के अलावा अस्पतालों में दवाओं की किल्लत को लेकर मामला गरम रहेगा. विपक्ष सरकार से विकास और लोक कल्याणकारी योजनाओं में बड़ी राशि खर्च करने की मांग कर सकता है. सत्र को लेकर सुरक्षा के भी इंतजाम किये गये हैं विधानपरिषद का उत्तरी प्रवेश द्वार खुलेगा. आस पास के क्षेत्र में पूर्णतया निषेधाज्ञा लागू रहेगी. आगामी चार मार्च तक सुबह नौ बजे से विधानसभा सत्र की समाप्ति तक यह आदेश प्रभावी रहेगा. सत्र एक महीने तक चलेगा जिसमें 26 फरवरी को वित्त मंत्री अब्दुल बारी सिद्दकी बजट पेश करेंगे और उसी दिन वित्तीय वर्ष 2015-16 से संबंधित तृतीय अनुपूरक व्यय विवरणी भी पेश होगी. सत्र के दौरान 7 मार्च को महाशिवरात्री और 22 मार्च को बिहार दिवस और 23व 24 को होली होने की वजह से बैठक नहीं होगी.
वहीं सत्र को लेकर बीजेपी विधायक दल के नेता प्रेम कुमार का कहना है कि विपक्ष सरकार को हर मुद्दे पर घेरेगा. खासकर महागंठबंधन सरकार की विफलताओं को लेकर सदन से लेकर सड़क तक विरोध करेगा. प्रेम कुमार ने कहा कि बिहार में कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब है और उसे लेकर विपक्ष सत्ता पक्ष के सामने शांतिपूर्ण विरोध करेगा. वहीं दूसरी ओर सत्ता पक्ष की ओर से संकेत है कि सरकार हर मुद्दे पर बहस के लिये तैयार है. जदयू नेता श्रवण कुमार का मानना है कि हंगामा करने से विरोधी दल को कोई लाभ नहीं होने वाला है.