आप यदि अपनी चोटों के प्रति लापरवाही रखते हैं तो निश्चित रूप से यह लेख आपके लिए ही है. जी हाँ, चोट, जख्म या घाव हो जाने पर यदि आप डॉक्टर की सलाह नहीं लेते या उसका इलाज नहीं कराते तो बस एक ‘स्मार्ट बैंडेज’ खरीदें और बेफिक्र हो जाएं, क्योंकि यह डॉक्टर की तरह आपके जख्मों का ख्याल रखेगा.
चोट व आग से हुए जख्मों की लगातार निगरानी रखने के लिए आ गया है ‘स्मार्ट बैंडेज’. इसे इलेक्ट्रॉनिक रूप दिया गया है. यह घाव तक अपने आप दवा पहुंचाएगी, उसके ठीक होने का पता लगाएगी और संक्रमण बढ़ जाए तो चिकित्सक को अलर्ट भी करेगी. अनुसंधानकर्ताओं ने पानी, दवा और इलेक्ट्रॉनिक्स के मेल से इसे बनाया.
रबर से बनी बैंडेज के 90% हिस्से में पानी है, दवा भंडारित करने की क्षमता है तथा यह बेहद कोमल,लचीली है. घुटने या कोहनी पर लगाई जाए तो काम में रुकावट नहीं लाएगी. छोटे अलार्म हैं जो तापमान अधिक होने पर बजने लगेंगे और इन्फेक्शन रोकने के लिए बैंडेज से दवा घाव तक पहुंचेगी.
इसे शरीर के टिश्यू जैसा रूप दिया गया है. बैंडेज में टाइटेनियम, एल्यूमीनियम, सिलिकोन, सेरामिक, स्वर्ण तथा अन्य धातुएं भी लगाई गई हैं जिन्हें सही अवस्था में रखने का काम जेल करता है. टाइटेनियम वायर बैंडेज तथा इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइसों को सक्रिय रखता है.
सेमीकंडक्टर के साथ एलईडी लाइट इसमें लगी हुई है. घाव के स्थान पर तापमान बढ़ जाए या दवा का प्रवाह कम हो जाए तो यह चमकती है. बैंडेज में बने छिद्रों से दवा घाव तक आवश्यकतानुसार पहुंचती रहती है.
मैसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलोजी के मुख्य अनुसंधानकर्ता जुआन्ह झाओ के अनुसार, बैंडेज का एक महत्वपूर्ण दायित्व घाव पर संक्रमण बढ़ने पर चिकित्सक को अलर्ट करने का भी है.
शोधकर्ताओं के अनुसार, अगला कदम ऐसी पानीयुक्त इलेक्ट्रॉनिक बैंडेज मस्तिष्क की चोट के लिए भी बनाने का होगा. आंतरिक हाइड्रोजेल बैंडेज ग्लूकोज सेंसर के रूप में काम करने के साथ स्नायु संबंधी जांच में भी उपयोगी हो सकती है. गहरे तथा जलने के घावों में इन्फेक्शन का खतरा अधिक होता है, उसके लिए यह बैंडेज प्रभावकारी साबित हो सकती है.