पेरिस : फेसबुक को फ्रांस में एक मुकदमें का सामना करना पड़ेगा. मामला एक शिक्षक के एकाउंट को ब्लॉक करने से जुड़ा है. एफबी ने एक टीचर का एकाउंट इसलिए ब्लॉक कर दिया था कि उसने एक नग्न पेंटिंग पोस्ट की थी. पेरिस के कोर्ट ने एफबी की इस अपील को ठुकरा दिया है कि उसके खिलाफ मामलों की सुनवाई सिर्फ अमेरिका की अदालतों में होगी. कोर्ट ने मार्च 2015 के इस अदालती आदेश को सही करार दिया कि एफबी का यह नियम है कि उसके सभी यूजर इस बात से सहमत है कि उससे जुड़े किसी भी कानूनी विवाद का निबटारा कैलिफोर्निया में होगा, यह पूरी तरह गलत है.
टीचर ने एफबी पर 19 वीं सदी की पेंटिंग द ओरिजिन ऑफ द वर्ल्ड पोस्ट कर दी थी. इसमें महिलाओं के यौनांगों को दिखाया गया है. एफबी ने टीचर के एकाउंट को बंद कर दिया.वहीं टीचर ने फेसबुक पर केस दर्ज करा दिया. टीचर का कहना है कि इस साइट को अश्लीलता और साहित्य में कोई फर्क नहीं मालूम है. गौर करने वाली बात यह है कि फेसबुक ने अपनीकानूनी शाखा फेसबुक फ्रांस को मई 2012 में ही बंद कर दिया था. जिसका मतलब था कि शिकायतें सिर्फ अमेरिकी अदालतों में की जा सकती है. वहीं इसका इस्तेमाल करने वालों ने इस नियम पर दस्तख्त भी किये हैं.
वहीं पेरिस के शिक्षक के अधिवक्ता ने कहा है कि यह महत्वपूर्ण है कि क्योंकि यह फैसला ना केवल फेसबुक बल्कि अन्य सोशल मीडिया नेटवर्क के लिये भी एक ऐसा न्याय अधिकार सृजित करता है जिसका मुख्यालय विदेश में खासकर अमेरिका में है. ऐसा करके वह सीधे-सीधे फ्रांसीसी कानून को बेच रहा है. टीचर के वकील ने कहा कि हो सकता है कि ये बहुराष्ट्रीय हों लेकिन कोर्ट का आदेश साफ कहता है कि यह फ्रांसीसी के कानून के दायरे से बाहर नहीं है. यदि उन्होंने अपने को फ्रांस में स्थापित किया है तो फिर फ्रांस का कानून इस पर भी लागू होगा और फ्रांस की अदालत यह कब फैसला करेगी.