सूबे की पांच हजार करोड़ राशि प्रतिवर्ष दूसरे राज्यों को जाती है
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मत्स्यपालन में राज्य सरकार उदासीन : गिरिराज िसंह
सूबे की पांच हजार करोड़ राशि प्रतिवर्ष दूसरे राज्यों को जाती है शेखपुरा : दो दिवसीय शेखपुरा दौरे पर आये नवादा लोकसभा संसदीय क्षेत्र के सांसद सह केंद्रीय राज्य मंत्री गिरिराज सिंह ने मत्स्य एवं पशुपालन में नीतीश सरकार का उदासीन रवैया अपनाये जाने की जम कर आलोचना की. उन्होंने बुधवार को पत्रकारों से बातचीत […]
शेखपुरा : दो दिवसीय शेखपुरा दौरे पर आये नवादा लोकसभा संसदीय क्षेत्र के सांसद सह केंद्रीय राज्य मंत्री गिरिराज सिंह ने मत्स्य एवं पशुपालन में नीतीश सरकार का उदासीन रवैया अपनाये जाने की जम कर आलोचना की. उन्होंने बुधवार को पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि बिहार पूरी तरह से कृषि पर आधारित है. इस हालत में नीतीश कुमार को मत्स्य पालन को बढ़ावा देने में आवश्यक कदम उठानी चाहिए.
इस दिशा में आवश्यक कदम नहीं उठाये जाने से बिहार के लाखों मत्स्य पालकों को रोजगार मिल जाता है और उनकी आर्थिक उन्नति होती है, लेकिन राज्य सरकार द्वारा उदासीन रवैया अपनाये जाने के कारण मत्स्य व्यापार को लेकर राज्य पांच हजार करोड़ रुपये प्रतिवर्ष राज्य से बाहर चले जाते हैं.
उन्होंने कहा कि बिहार में 02 लाख मिट्रिक टन मत्स्य उत्पादन की कमी है. उन्होंने कहा कि जब बिहार सरकार में मत्स्य पालन एवं पशुपालन मंत्री थे तो वे मत्स्य उत्पादन को बढ़ावा देकर इस उद्योग को आगे काफी दूर तक बढ़ाया था. उन्होंने कहा कि उनके बिहार सरकार के मंत्रीत्व काल में मत्स्य उत्पादन हैचरी के लिए इंदाय मोहल्ला के विपिन कुमार को लोन दिया गया था, जो वर्तमान में बेहतर संचालन कर आर्थिक उन्नति कर रहे हैं. इस मौके पर भाजपा जिलाध्यक्ष संजीव मुखिया, संजीत प्रभाकर, राजीव वर्मा, संजय कुमार समेत अन्य भाजपा कार्यकर्ता शामिल थे.
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