नई दिल्ली : वित्तीय खुफिया इकाई से काला धन एवं धनशोधन संबंधित लेनदेन के बारे में सूचना तक केंद्रीय सतर्कता आयोग और राष्ट्रीय खुफिया ग्रिड नैटग्रिड को पहुंच प्रदान की गई है. एक आधिकारिक आदेश के अनुसार सीवीसी और नैटग्रिड दोनों को 18 ऐसे अन्य संगठनों की उस सूची में जगह दी गई है जिन्हें एफआईयू से संदिग्ध वित्तीय लेनदेन की जानकारी लेने का अधिकार है. इन संगठनों में रॉ और आईबी शामिल हैं. एफआईयू को ऐसे वित्तीय लेनदेन से संबंधित सूचनाओं के संकलन, विश्लेषण और प्रसार की जिम्मेदारी है जिनपर काला धन या अपराध की कमाई होने का संदेह हो.
आदेश में कहा गया है कि इस कदम का लक्ष्य काले धन, भ्रष्टाचार और अन्य वित्तीय अपराधों पर अंकुश लगाने के देश के प्रयासों को मजबूत करना है. केंद्र सरकार ने ‘‘जनहित में” एफआईयू के पास उपलब्ध सूचना तक सीवीसी और नैटग्रिड की पहुंच देने का फैसला किया है. नैटग्रिड अभी आरंभिक चरण में है. यह विभिन्न केंद्रीय सुरक्षा एवं खुफिया एजेंसियों से अहम डेटा जमा करेगा. यह परियोजना अगले साल किसी समय पूरी होगी.
अभी एफआईयू प्रवर्तन निदेशालय ईडी, सीबीआई,आरबीआई भारतीय प्रतिभूति एवं सेबी, राष्ट्रीय जांच एनआईए, सीईआईबी और राज्य सरकारों के प्रधान सचिवों तथा कुछ अन्य से सूचना साझा करता है. उच्चतम न्यायालय की ओर से काला धन पर नियुक्त विशेष जांच दल :एसआईटी: भी उन अधिसूचित संगठनों में शमिल है जो एफआईयू से सूचना हासिल कर सकता है. एफआईयू सीधे आर्थिक खुफियागीरी परिषद ईआईसी को रिपोर्ट करता है जिसके प्रमुख वित्तमंत्री होते हैं.