कटिहार : आधुनिक जीवन में कदम से कदम मिला कर चलने के लिए बिजली का होना महत्वपूर्ण है. तभी हम देश-दुनिया के साथ कंधे से कंधा मिला कर चल सकते हैं. चाहे कंप्यूटर, पंखा, टीवी, फ्रिज, मोबाइल इत्यादि इलेक्ट्रॉनिक्स सामान हो सबकी जरूरत बिजली है.
बिजली बिन सब सुना हो जाता है, लेकिन इससे भी अहम बिजली का बिल होता है. आप चाहे बिजली की खपत ज्यादा या कम करते हैं. बिल प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से आने पर परेशान रहते हैं. इसी में सुधार लाने के लिए विभाग की ओर से प्री-पेड विद्युत सेवा की शुरुआत की गयी है. जो बजाप्ता पूर्णिया के सरकारी आवासों में कार्य भी कर रहा है. लेकिन अब तक इस तरह की योजना कटिहार में नहीं लागू हो पायी है.
इसके लागू होने से बहुत हद तक विद्युत की चोरी व बिल संबंधी समस्या सुधार हो सकती है. क्या है प्री-पेड मीटरविद्युत विभाग के प्रीपेड मीटर में रिचार्ज करना पड़ता है. जितने का रिचार्ज होगा, उतने दिन ही बिजली मिलेगी. रिचार्ज के लिए विभाग से संपर्क करना होगा. रिचार्ज नहीं करने पर स्वत: बिजली आपूर्ति बंद हो जायेगी. उपभोक्ता परेशानयदि एक महीना का बिल 500 रुपया आता है और फिर आप उस बिल को एक महीना या फिर दो-तीन महीना जमा नहीं करते हैं या फिर इसके लिए कोई विघ्न हो तो यही बिल डीपीएस जोड़ कर आपके पास भारी-भरकम बिल बन कर आ जाता है और सोचने को आप मजबूर हो जाते हैं. लेकिन प्रीपेड मीटर के लग जाने से ऐसा कुछ नहीं होगा. जितने का आप रिचार्ज करेंगे,
उतनी बिजली ही आपको मिलेगी. जिससे परेशानी भी कम होगी. उदाहरण के तौर बताते चलें कि नगर निगम के पास करोड़ों रुपये बकाया बिजली विभाग का है. यदि प्री-पेड मीटर रहता तो यह राशि कम होती. नहीं मिलता है समय पर बिजली बिलवर्तमान विद्युत विभाग की व्यवस्था के अनुसार बिजली बिल मीटर रीडिंग करने के बाद उपभोक्ताओं को भेजी जाती है, लेकिन बिजली बिल शत प्रतिशत उपभोक्ताओं को प्राप्त नहीं होता है.
शहरी क्षेत्र के कई ऐसे इलाके हैं जहां पर तीन से छह माह तक के बिजली बिल विद्युत उपभोक्ताओं को नहीं मिल पाया है, जिसके कारण उन्हें बढ़ा हुआ बिल मिलता है. प्रीपेड की व्यवस्था लागू हो जाने से विद्युत बिल बांटने की समस्या समाप्त हो जायेगी. कहते हैं कार्यपालक अभियंताकार्यपालक अभियंता आपूर्ति नवीन कुमार ने बताया कि पूर्णिया के सरकारी आवासों में प्रीपेड मीटर लगाया गया. कटिहार में कब तक ये सुविधा आयेगी, इसकी कोई विभागीय जानकारी नहीं है.