समस्तीपुर : शहर का हृदयस्थली स्टेशन चौक शनिवार को फिर जाम में कराहता रहा. इसमें जो फंसे उनकी हालत वही बेहतर बातयें. झलाहट तब सुनने को मिली जब शनिवार को कई यात्रियों की ट्रेन छूट गयी. उस वक्त यात्री शहरी व्यवस्था को यूं कोस रहे थे जैसे वश में होता तो यहां आने से परहेज कर जाते. लेकिन शिकायत भी करें किससे. हर किसी को यहां की हालत पता है. रेल प्रशासन व जिला प्रशासन के बीच यह मामला अक्सर फंस जाता है.
तसवीर पर नजर डालें तो जंक्शन के प्रवेश द्वार के सामने से लेकर ऑटो स्टैंड तक की सड़क के अधिकत्तर हिस्सों पर फुटपाथी दुकानदारों का कब्जा है. शेष बची संकरी सड़क पर रिक्शा व दो व चार पहिया वाहनों की रेलम ठेल पैदल लोगों को आर पार होने से इस कदर रोकते हैं कि सांसे अटक सी जाती है.
स्थानीय लोगों का मानना है कि जिला प्रशासन को इस तरफ ध्यान दिलाने से भी कोई विशेष फायदा नहीं. क्योंकि उसके अभियान भी राम बाबू चौक पहुंचते पहुंचते दम तोड़ जाता है. पूरी शक्ति दिखायी जाती है ताजपुर रोड व मोहनपुर रोड में. लेकिन एक हप्तों के बाद स्थिति पूर्ववत हो जाती है. ऐसे में नासूर सी बनी यह समस्या लोगों को साल रहा है.
जिससे निजात पाने की चाहत हर किसी में है. लेकिन उस एक तकनीक या फिर यूं कहें कि उस पदाधिकारी की ओर नजरें आकर अटक जाती है जो वर्षों से चल रही इस समस्या का समाधान निकालने का जिम्मा चुनौतीपूर्वक लें सके.