भोपाल : विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने आज 15 वर्षीय पाकिस्तानी किशोर रमजान से भेंट की और उसकी घर वापसी के लिए एक अधिकारी को पड़ोसी देश भेजने का आश्वासन दिया. रमजान पिछले दो वर्ष से भारत में है. रमजान से आज भेंट करने के बाद सुषमा ने संवाददाताओं से कहा, ‘मैं रमजान की घर वापसी तय करने के लिए कल हमारे अधिकारी को पाकिस्तान भेजने वाली हूं.’ सुषमा ने जब यहां अपने सरकारी आवास पर मीडिया को संबोधित किया, उस दौरान रमजान भी उनके साथ मौजूद था. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वह गीता से भी मिलेंगी. एक दशक से भी ज्यादा वक्त तक पाकिस्तान में फंसे रहने के बाद बोलने-सुनने में अक्षम गीता हाल ही में वापस लौटी है.
राज्य के विदिशा लोकसभा सीट से सांसद सुषमा ने कहा, ‘मैं कल इंदौर में गीता से मिलने वाली हूं.’ रमजान की कहानी कुछ-कुछ गीता जैसी ही है. वह फिलहाल गैर सरकारी संगठन ‘आरंभ’ द्वारा चलाये जाने वाले आश्रय गृह ‘उम्मीद’ में रह रहा है. रमजान की कहानी 2009 में उसके पिता मोहम्मद काजोल द्वारा उसकी मां बेगज रजिया को तलाक देने से शुरू होती है. काजोल अपने बेटे और बेटी जोरा के साथ अलग रहने लगा. रजिया ने अपने बच्चों को वापस पाने के लिए दो-तीन बार काजोल से संपर्क भी किया. दोनों के बीच समझौता हुआ और रजिया को जोरा वापस मिल गयी.
2009-2010 में काजोल रमजान के साथ बांग्लादेश चला गया. वहां उसने फिर से निकाह कर लिया. महिला ने रमजान के साथ बहुत खराब बर्ताव किया. पिता का व्यवहार भी उसके साथ खराब रहा. ‘उम्मीद’ की निदेशक अर्चना सहाय ने बताया कि करीब 30 महीने पहले किसी की सलाह पर रमजान चुपके से भारत आ पहुंचा ताकि अपने घर पाकिस्तान वापस जा सके.