भागलपुर : तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश जनार्दन त्रिपाठी ने शनिवार को वुचर मंडल की हत्या में दो आरोपी सिकंदर रजक और वुचर तांती को आजीवन करावास दिया है. अदालत ने दोनों आरोपी को 29 अक्तूबर को दोषी करार दिया था.
अदालत ने दोनों आरोपी को पांच-पांच हजार रुपया जुर्माना लगाया है, जुर्माना नहीं देने पर छह माह की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी. मामले में सरकार की ओर से अपर लोक अभियोजक दीप कुमार यादव व बचाव पक्ष से अभिमन्यु प्रसाद ने पैरवी की थी. नाथनगर नवटोलिया की रुक्मिणी देवी ने पुलिस को बताया कि 10 सितंबर 1996 की आधी रात को उनके आंगन में भूदेव मंडल के पुकारने की आवाज आयी.
जब वह बाहर गयी, तो गांव के ही सिकंदर रजक ने पति वुचर मंडल को बुलाने के लिए कहा. इसके बाद पति वुचर मंडल को साथ लेकर सिकंदर रजक बाहर गया. बाद में उसने देखा कि सिकंदर रजक, वुचर तांती, कन्हाई रजक व पुन्ना दास उनके पति वुचर मंडल को घेर कर वुचर मंडल को पीट रहे थे.
अचानक सिकंदर रजक, वुचर तांती ने वुचर मंडल पर पिस्तौल से फायर कर दिया, जिससे वह मौके पर ही गिर पड़े. इस बीच कन्हाई रजक पिस्तौल के बल पर भूदेव मंडल, मुन्ना दास, वासुदेव को रोके हुए थे. घटना को अंजाम देकर सभी फरार हो गये.