मलयेशिया में बंधक सोमर लौटा घर-बगोदर क्षेत्र के 37 मजदूर अभी हैं बंधक-24 अप्रैल को 38 मजदूरों को ले जाया गया था काम करने-12 से 14 घंटे लिया जाता था काम-समय पर नहीं दी जाती थी मजदूरी-जानवरों जैसा किया जाता था व्यवहार-बार-बार आंदोलन के कारण कंपनी ने सोमर को भेज दिया वापसफोटो। 27 मलयेशिया में बंधक बना सोमर महतोबगोदर/सरिया . मलयेशिया में बंधक बना बगोदर प्रखंड के चिचाकी गांव निवासी सोमर महतो गत रविवार को अपने घर लौट आया. उसके लौटने से परिजनों और गांव में खुशी का माहौल है. सोमर ने बताया कि मलयेशिया के एसजी केबल कंपनी में काम करने के लिए 24 अप्रैल 2015 को यहां से 38 मजदूरों को ले जाया गया था़ उस समय एक वर्ष की एग्रीमेंट की बात कही गयी थी, लेकिन वहां ले जाकर तीन वर्षों के एग्रीमेंट पेपर पर हस्ताक्षर करवाये गये. काम के लिए मलयेशिया के कुचिंग शहर ले जाया गया. वहां उनसे 12-14 घंटे काम लिया जाता था़ जानवरों से भी बदतर व्यवहार किया जाता था. समय पर मजदूरी नहीं मिलने के कारण खाने के लाले पड़ गये थे. सोमर ने बताया कि उसने मजदूरों का नेतृत्व करते हुए कई बार विरोध जताया और आंदोलन किया़ इसके बाद कंपनी के लोग उसे बहला कर एयरपोर्ट ले गये और भारत का टिकट देकर प्लेन पर चढ़ा दिया. बताया कि अभी भी बगोदर क्षेत्र के 37 मजदूर वहां बंधक बने हैं. इधर सूचना पाकर स्थानीय विधायक नागेंद्र महतो सोमर से मिलने पहुंचे. उन्होंने बंधक मजदूरों की वापसी के लिए शीघ्र पहल की मांग की है.
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मलयेशिया में बंधक सोमर लौटा घर
मलयेशिया में बंधक सोमर लौटा घर-बगोदर क्षेत्र के 37 मजदूर अभी हैं बंधक-24 अप्रैल को 38 मजदूरों को ले जाया गया था काम करने-12 से 14 घंटे लिया जाता था काम-समय पर नहीं दी जाती थी मजदूरी-जानवरों जैसा किया जाता था व्यवहार-बार-बार आंदोलन के कारण कंपनी ने सोमर को भेज दिया वापसफोटो। 27 मलयेशिया में […]
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