राजनीतिक मंच पर बैठ कर काम के बीच में भी वह गरीब लोगों को दवाई का परचा लिख देते थे. वह हमेशा रिक्शे से सफर करते थे. वर्ष 1927 में बांग्लादेश के ढाका स्थित बिक्रमपुर में उनका जन्म हुआ. अनुपम सेन डॉ विधानचंद्र राय के साथ प्रथम बैच के छात्र थे. 70 के दशक में जब सिद्धार्थ शंकर राय राज्य के मुख्यमंत्री थे, तब अनुपम सेन को उन्होंने राज्य का स्वास्थ्य मंत्री होने का प्रस्ताव दिया था. गरीब जनता की सेवा करने के लिए उन्होंने मंत्री होने का प्रस्ताव ठुकरा दिया था. उन्हें पता था कि मंत्री होने के बाद वह आम चिकित्सक बन कर गरीब जनता की सेवा नहीं कर पायेंगे. उन्होंने एक रुपया विजिट लेकर मरीज देखना शुरू किया था. बाद में वह दो रुपये व जीवन के अंतिम काल में वह पांच रुपये कर विजिट चार्ज लेते थे. ज्यादातर गरीब लोगों से वह पैसा नहीं लेते थे और नि:शुल्क दवाई देते थे.
वर्ष 2014 में राज्य सरकार की ओर से उन्हें विशिष्ट समाजसेवी के तौर पर बंगरत्न सम्मान से नवाजा गया था. वर्ष 1971, 1972, 1991 व 1996 में वह चार बार कांग्रेस के विधायक बने थे. जलपाईगुड़ी के मासकलाईबाड़ी स्थित श्मशानघाट में डॉ अनुपम सेन का अंतिम संस्कार किया गया. आज उनकी शव यात्रा में जलपाईगुड़ी नगरपालिका के चेयरमैन मोहन बोस, पूर्व सांसद मानिक सान्याल, मिनती सेन, प्रदेश तृणमूल कांग्रेस के सचिव कल्याण चक्रवर्ती, कांग्रेस के जिलाध्यक्ष निर्मल घोष दस्तीदार, जलपाईगुड़ी बार एसोसिएशन के प्रतिनिधि व शहर के विभिन्न क्लब व स्वयंसेवी संगठनों के प्रतिनिधि शामिल हुए.