नयी दिल्ली : ललित मोदी विवाद पर लोकसभा में सुषमा स्वराज के बयान पर आज कांग्रेस और भाजपा में बहस छिड गई. कांग्रेस ने उनके बयान को बेजान बताया जबकि सत्तारुढ पार्टी ने मुख्य विपक्षी पार्टी से इन मुद्दों को संसद में उठाने को कहा, जहां विदेश मंत्री इसका जवाब देंगी.
विदेश मंत्री के बयान को भावनात्मक बताते हुए कांग्रेस प्रवक्ता आनंद शर्मा ने कहा कि यह अपने बचाव में मांगी गई माफी है. इसके जवाब में केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमन ने कहा कि मुख्य विपक्षी पार्टी संसद में अपनी आपत्तियों को उठा सकती हैं जिनका सुषमा निश्चित रुप से जवाब देंगी.
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, क्या उन्हें (कांग्रेस को) अपनी टिप्पणियां करने के लिए सदन के अंदर नहीं होना चाहिए. उन्हें यह मुद्दा यहां उठाना चाहिए और सुषमा स्वराज इसका जवाब देंगी. कांग्रेस पर हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि इसने राज्यसभा में बोलने नहीं दिया जहां विपक्षी पार्टी के सदस्यों के हंगामा करने पर सदन के स्थगन होने से पहले वह महज कुछ मिनट ही बोल सकीं.
शर्मा ने संवाददाताओं से कहा, आपने अवश्य ही विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की भावुकता देखी होगी. हमें इसमें बचाव की माफी नजर आई. यह एक छलावा है जिसे स्वीकार करना मुश्किल है. इसमें कोई दम नहीं है और यह बेजान है. उन्होंने कहा कि बुनियादी सवाल यह है कि क्या एक मंत्री को गुपचुप तरीके से एक भगोडे के लिए यात्रा दस्तावेज की व्यवस्था करनी चाहिए, उसकी सहायता करनी चाहिए या अनुरोध करना चाहिए, जिसे ब्रिटिश सरकार ने शुरु में खारिज कर दिया हो.
शर्मा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और सुषमा पर शर्मनाक तरीके से और स्पष्ट रुप से राष्ट्र को एक बार फिर गुमराह करने का आरोप लगाया. उन्होंने सुषमा के बयान को खारिज करते हुए कहा कि मोदी सरकार ने कांग्रेस के 25 सांसदों को निलंबित कर लोकतंत्र की हत्या की है.