बर्न (स्विट्जरलैंड) : स्विट्जरलैंड ने पहली बार माना है कि वह विदेशों में जमा अवैध धन की लांड्रिंग (वैध रूप देने) में लगे लोगों के लिए एक ‘आकर्षक स्थल’ बना हुआ है. साथ ही उसने कहा है कि मनी लांड्रिंग व आतंकी गतिविधियों को वित्तपोषण का मुकाबला करने के लिए उसे अपनी प्रणालियों को और अधिक मजबूत बनाना होगा. स्विट्जरलैंड ने यह स्वीकारोक्ति ऐसे समय में की है, जबकि भारत व अन्य देश उस पर अपने उन नागरिकों के वित्तीय लेन-देन का ब्योरा उपलब्ध कराने के लिए दवाब बना रहे हैं, जिन्होंने अपने अवैध धन को वहां छुपाने के लिए स्विस बैंकिंग संस्थानों की गोपनीयता की दीवारों का फायदा उठाया है.
स्विट्जरलैंड की एक उच्चस्तरीय सरकारी समिति ने कहा है कि यह देश भी वित्तीय अपराधों के जोखिमों से बचा नहीं है. बैंक के लिए यह खतरा सबसे अधिक है. समिति ने हालांकि ऐसे किसी देश का नाम नहीं लिया है, जहां से वित्तीय अपराधों की कमाई उसके देश की वित्तीय प्रणाली में आ सकती है.
स्विट्जरलैंड के शीर्ष संस्थान फेडरल काउंसिल की पिछले शुक्रवार को हुई बैठक में ‘मनी लांड्रिंग व आतंकवादी गतिविधियों के वित्तपोषण से जुड़े जोखिमों पर पहली राष्ट्रीय रपट’ पर चर्चा हुई. यह रपट एक उच्चस्तरीय अंतर-विभागीय कार्य बल ने तैयार की है. इसमें कहा गया है कि ‘स्विट्जरलैंड भी वित्तीय अपराधों के खतरे से पूरी तरह सुरक्षित नहीं है. यह मुख्य रूप से विदशों में अपराधों से कमाये गये धन की लांड्रिंग के लिए एक आकर्षक स्थल बना हुआ है.
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