नयी दिल्ली : अर्द्धसैनिक बल के जवानों के कल्याण की दिशा में बडा कदम उठाते हुए सरकार ने यह फैसला किया है कि नक्सल विरोधी और अन्य अभियानों के दौरान जख्मी होने या बीमार होने की हालत में उन्हें ड्यूटी पर तैनात माना जाएगा तथा ऐसी परिस्थिति में उन्हें पूरा वेतन दिया जाएगा.
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ड्यूटी पर तैनात माने जाएंगे अस्पताल में भर्ती अर्द्धसैनिक जवान : गृहमंत्रालय
नयी दिल्ली : अर्द्धसैनिक बल के जवानों के कल्याण की दिशा में बडा कदम उठाते हुए सरकार ने यह फैसला किया है कि नक्सल विरोधी और अन्य अभियानों के दौरान जख्मी होने या बीमार होने की हालत में उन्हें ड्यूटी पर तैनात माना जाएगा तथा ऐसी परिस्थिति में उन्हें पूरा वेतन दिया जाएगा. सूत्रों ने […]
सूत्रों ने बताया कि अर्द्धसैनिक बलों ने मौजूदा नियमों में बदलाव की मांग की थी जिस पर केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अपनी सहमति जताई है. मौजूदा नियम के मुताबिक अस्पताल में भर्ती सैनिक को ड्यूटी पर तैनात नहीं माना जाता था. मामले से अवगत एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, सरकार ने इस संबंध में केंद्रीय बलों की मांग पर स्वीकृति दे दी और हाल में सभी बलों को यह अधिसूचित कर दिया गया है कि ये नियम सीआरपीएफ, बीएसएफ, आईटीबीपी, एसएसबी, सीआईएसएफ और एनएसजी जैसे संबंधित बलों पर भी लागू होंगे.
यह कदम तैनाती वाले क्षेत्र में ऐसे पुरुष और महिला कर्मियों के लिए मनोबल बढाने वाला है. इन बलों के अधिकारियों ने कहा, तैनाती वाले क्षेत्रों जैसे कि वाम चरमपंथ प्रभावित इलाकों और पूर्वोत्तर के उग्रवाद संभावित क्षेत्रों में उनकी तैनाती होती है और इस दौरान बार बार वह जख्मी होते हैं जो लगभग हर दूसरे दिन होता रहता है.
अधिकारी ने यह भी कहा, ऐसा कई बार हुआ है जब वामपंथी उग्रवाद प्रभावित राज्यों में नियमित गश्त के दौरान आईईडी विस्फोट या घात लगाकर किए हमलों में सैनिक घायल हो जाते हैं. इसके बाद एक हफ्ते से लेकर कुछ महीनों तक उन्हें अस्पताल में भर्ती रहना पडता है और ड्यूटी पर रहने के बावजूद सैनिकों को वेतन से वंचित रखा जाता है. इस अनियमितता को अब दुरुस्त किया जा रहा है.
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