मुंबई : केंद्रीय मंत्री हंसराज अहीर ने आज कहा कि उन्हें नहीं लगता है कि कोयला घोटाले में पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह व्यक्तिगत तौर पर संलिप्त थे लेकिन इस बात को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता कि घोटाला उनके शासन में हुआ है. अहीर भी कोयला घोटाले का भंडाफोड करने वालों में शामिल रहे हैं.
पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, उद्योगपति कुमार मंगलम बिडला और पूर्व कोयला सचिव पी.सी. पारख तथा तीन अन्य को वर्ष 2005 में ओडिशा की तालाबीरा-दो कोयला ब्लॉक आवंटन मामले में 11 मार्च को एक विशेष अदालत ने आरोपी के तौर पर समन जारी किया है. उन्हें 8 अप्रैल को अदालत में हाजिर होने को कहा गया है.
अहीर ने यहां संवाददाताओं से बातचीत करते हुये कहा, ‘पूर्व प्रधानमंत्री को समन किया जाना अच्छा संकेत नहीं हैं. मनमोहन सिंह के पास उस समय कोयला मंत्रालय का प्रभार भी था. लेकिन कोयला घोटाला उनके शासनकाल में हुआ इस सच्चाई को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता. सिंह ने अपनी कुर्सी बचाने या फिर अपनी पार्टी के दबाव में जो कुछ हो रहा था उससे नजरें फेर लीं.
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