जिला शिक्षा विभाग के उदासीनता के कारण निर्माण कार्य बीच में अटका हुआ है. दरअसल सरकार के आदेशानुसार जिले के लगभग 71 प्राथमिक व मध्य विद्यालयों को उच्च विद्यालय में उत्क्रमित किया गया था. हाइस्कूल के मापदंड के अनुसार उस ही विद्यालय में भवन निर्माण कार्य करना था. इसके अंतर्गत पहले चरण में जिले के विभिन्न प्रखंडों में 32 उच्च विद्यालय के भवन निर्माण का कार्य कराना था. इसे वर्ष 2014 के दिसंबर तक पूरा करना था.
हालात यह है कि अब तक कुछ ही प्रखंडों में भवन निर्माण पूरा हो पाया है. जबकि उक्त आंकड़ा के अनुसार आधा से भी ज्यादा विद्यालयों में भवन निर्माण कार्य नहीं हो पाया है. आठ विद्यालयों में निर्माण कार्य शुरू नहीं हो पाया है. नौ स्कूलों में मंद गति से काम चल रहा है. तीन विद्यालयों में काम अंतिम चरण के नाम पर अटका है. जबकि 12 विद्यालयों में भवन निर्माण पूरा हो चुका है.