औरंगाबाद (ग्रामीण) : संसद में गुरुवार को वित्त मंत्री द्वारा पेश किये गये बजट की गूंज जिले में सुनायी पड़ी. विपक्षी पार्टी के नेताओं को छोड़ कर हर किसी ने बजट को सराहा, लेकिन थोड़ी मायूसी यह रही कि बिहार को आइआइटी कॉलेज के लिये सलेक्ट नहीं किया गया. लेकिन, छात्र-छात्राओं ने बिहार को आइआइएम का तोहफा मिलने पर खुशियों का इजहार किया. एक शिक्षण संस्थान में कंप्यूटर सीख रही सीमा कुमारी, पूनम कुमारी और नीलू कुमारी ने प्रसन्नता जाहिर करते हुए कहा कि बिहार को केंद्र सरकार ने आइआइएम का तोहफा दिया है.
मैनेजमेंट की पढ़ाई के लिए अब अपने ही राज्य में रह कर बेहतर तैयारी करना पड़ेगा. कम से कम बाहर जाने का चक्कर अब नहीं रहा. छात्र मोनू कुमार, सुनील कुमार, अभिषेक कुमार, सतीश कुमार, मनोज कुमार, सरोज सिंह, अखिलेश पांडेय व राजा तिवारी ने कहा कि आइआइटी संस्थान बिहार को नहीं मिलने के बाद थोड़ी मायूसी हुई है. लेकिन, मोदी सरकार में कुछ दिन बाद वह भी तोहफा मिल जायेगा.
सिगरेट के धुएं उड़ाना हुआ महंगा
आज के परिवेश में एक बेहतर समाज और परिवार को बरबाद करने में नशा का योगदान काफी अधिक है. पान, गुटखा, सिगरेट, श्रृंगार एक बड़ी समस्या बनी है. वित्तमंत्री अरुण जेटली द्वारा पेश किये गये बजट में इन सामग्रियों के मूल्यों में वृद्धि किये गये हैं. इस वजह से अधिकांश परिवार बेहद खुश है. कम से कम अब उनके बच्चे बूरी आदतों से कुछ हद तक छुटकारा पा सकेंगे. क्योंकि पॉकेट मनी का दायरा भी सीमित है. सिगरेट के धुएं उड़ाने वाले लोगों के लिये यह बजट परेशानियों से भरा है. अब सरकार के नये रुख से सिगरेट के धुएं उड़ाना महंगा साबित होगा.
रोजमर्रा के उपयोग की वस्तुएं हुईं सस्ती
हर व्यक्ति के लिये रोजर्मे की वस्तुओं से नाता जुड़ा है. महंगाई के इस दौर में रोजर्मे की वस्तुओं की कीमत में कमी की जाये तो हर व्यक्ति के बढ़े बजट पर गिरावट आयेगी. तेल, साबुन व दवा बेहद जरूरी है. मोबाइल और कंप्यूटर की ओर भाग रहे युवाओं को भी सरकार ने तोहफा दिया है. एलसीडी, एलक्ष्डी, टीवी, कंप्यूटर पार्टस, मोबाइल फोन, सोलर लैंप के दाम सस्ता होने से आम आवाम में खुशियां व्याप्त हो गयी है. फौरन से अपने वतन लौट रहे लोगों के लिए भी मोदी सरकार ने बड़ी तोहफा दी है. अब 25 हजार के बजाय 45 हजार तक के समान फौरन से ला सकते हैं. सउदी अरब में काम करने वाले मो फैज व मो इमरान ने बताया कि बजट पर निगाहें थी.