जमशेदपुर: जेम्को में स्नूकर के अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी अरुण नामता की हत्या के मामले में टेल्को पुलिस ने बर्मामाइंस कंचननगर से गिरफ्तार प्रीति जायसवाल को बुधवार को जेल भेज दिया. पुलिस ने गोल्डी के सरेंडर के दिन प्रीति को हिरासत मे लिया था.
दो दिनों तक टेल्को थाना में रखकर उससे पूछताछ की गयी और रविवार को प्रीति को छोड़ दिया था. बुधवार को पुलिस ने प्रीति को दोबारा गिरफ्तार कर लिया और कोर्ट में प्रस्तुत कर जेल भेज दिया.
बी कॉम की छात्र है प्रीति
पुलिस को दिये गये बयान में कहा है कि वह बीकॉम पार्ट टू की छात्र है. सतनाम सिंह उर्फ गोल्डी से उसकी ढाई वर्ष से दोस्ती है. गोल्डी के कहने पर वह सूद में रुपये देने लगी. अरुण नामता का बहन अंजू रजक को उसने 12 लाख रुपये सूद पर दिये. इसके अलावा पांच लाख रुपये रेखा से, पिंटू व बंटी जनेजा से 14.50 लाख रुपये लेकर अंजू को सूद पर दिये. उक्त राशि के एवज में अंजू ने उसे अपने मकान के पेपर गिरवी रखे. कुछ माह सूद देने के बाद अंजू ने सूद देना बंद कर दिया. उसके द्वारा सूद मांगने पर उसने न सूद दिया और न ही मूल रकम लौटायी.
14 जून को वह अंजू के घर रुपये मांगने गयी थी. इस बीच अंजू के भाई अरुण नामता से उसे धक्का देकर घर से निकाल दिया और ईल हरकत की. वह घर लौट आयी और इसकी जानकारी गोल्डी को फोन पर दी. गोल्डी ने कहा कि उसका भी 1.50 लाख रुपया बाकी है. वह रुपये देगा नहीं तो ऊपर जायेगा. 21 जून को गोल्डी ने शाम 7.30 बजे फोन किया कि उसने अरुण को गोली मार दी है. इसके बाद वह अपने पति रवि कुमार के साथ घर में जितना रुपये थे उसे लेकर मानगो बस स्टैंड पहुंच गयी. मानगो से तीनों रांची, फिर रायगढ़ और वहां से नागपुर होते हुए अंधेरी पहुंचे. मुबंई अंधेरी में एक होटल में दो कमरे में तीनों रुके.एक दिन मुंबई में रुकने के बाद वापस शहर लौट गये.