रांची: मेडिकल इंजीनियरिंग की परीक्षा में पास हुए लगभग 238 विद्यार्थी इंटर में अपने अंक से संतुष्ट नहीं है. इन विद्यार्थियों ने स्पेशल स्क्रूटनी के लिए आवेदन दिया है. इंटर में कम अंक होने के कारण मेडिकल-इंजीनियरिंग कॉलेजों में नामांकन में परेशानी हो रही है.
झारखंड एकेडमिक काउंसिल ने वैसे विद्यार्थियों से स्क्रूटनी के लिए छह जून तक आवेदन जमा करने को कहा था जो इंटर में अपने अंक से संतुष्ट नहीं है और मेडिकल-इंजीनियरिंग परीक्षा में पास हो चुके हैं. स्पेशल स्क्रूटनी जैक कार्यालय में होगा. स्क्रूटनी के बाद विद्यार्थी का रिजल्ट संबंधित स्कूल-कॉलेज को भेज दिया जायेगा. विद्यार्थियों का रिजल्ट जैक के नोटिस बोर्ड पर भी जारी किया जायेगा.
गत वर्ष से कम आये आवेदन
इंटर में स्पेशल स्क्रूटनी के लिए आवेदन देने वाले परीक्षार्थियों की संख्या में कमी हो रही है. गत वर्ष 400 विद्यार्थियों से स्पेशल स्क्रूटनी के लिए आवेदन जमा किया था. स्पेशल स्क्रूटनी में अंक नहीं बढ़ने पर परीक्षार्थी इंजीनियरिंग व मेडिकल में नामांकन से वंचित हो सकते हैं.
क्या है स्पेशल स्क्रूटनी
ऐसे विद्यार्थी जो इंजीनियरिंग, मेडिकल व अन्य संस्थानों में प्रवेश के लिए चयनित हुए हैं, पर इंटर में अपने अंक से असंतुष्ट हैं, उनकी उत्तर पुस्तिकाओं की स्पेशल स्क्रूटनी की जायेगी. विद्यार्थियों को आवेदन के साथ प्रवेश पत्र, इंटरनेट से निकाला गया अंक पत्र भी जमा करने को कहा गया था.
जैक में स्पेशल स्क्रूटनी शुरू : जैक में स्पेशल स्क्रूटनी शुरू कर दी गयी है. स्क्रूटनी के लिए परीक्षकों की नियुक्ति की गयी है. इसके लिए संबंधित परीक्षार्थियों की उत्तरपुस्तिका मूल्यांकन केंद्र से मांगा ली गयी है. इस वर्ष स्पेशल स्क्रूटनी के लिए सबसे अधिक आवेदन गणित विषय में आया है.
स्क्रूटनी में इन बिंदुओं पर होगा विचार
स्क्रूटनी के तहत मूल्यांकित प्रश्नों का पुनमरूल्यांकन नहीं किया जायेगा.
कॉपी में अंदर के पेज पर नियोजित अंक अगर मुख्य पृष्ठ पर अंकित नहीं हो, तब उसे मुख्य पृष्ठ पर अंकित करते हुए योग में सुधार किया जायेगा.
अगर कोई प्रश्न बिना मूल्यांकन के रह गया हो, तो उसका मूल्यांकन किया जायेगा.
अंकों का योग अगर सही नहीं हो, तो उसमें सुधार किया जायेगा.