कोलकाता: सारधा मामले में सीबीआइ शीघ्र केस दर्ज करेगी. सीबीआइ द्वारा विभिन्न राज्यों से प्रमाण एकत्रित करने के बाद सीबीआइ इस मामले में अगले सप्ताह मामला दर्ज करेगी. सीबीआइ की सात सदस्यीय विशेष जांच टीम (एसआइटी) ने पश्चिम बंगाल, ओड़िशा, उत्तर पूर्व तथा बिहार से कागजात जब्त की है. सीबीआइ के निदेशक रंजीत सिन्हा ने बताया कि उन लोगों ने काफी कागजात एकत्रित किये हैं. शीघ्र ही जांच शुरू की जायेगी.
श्री सिन्हा ने जांच में सहयोग के लिए पश्चिम बंगाल व ओड़िशा के मुख्य सचिव को पत्र लिखा था. चूंकि इस मामले में एसआइटी द्वारा अगले सप्ताह मामला दर्ज किये जाने की संभावना है. एसआइटी ने पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव, पुलिस महानिदेशक व गृह सचिव से मुलाकात की तथा घोटाले से संबंधित कागजात संग्रह करने में उनसे मदद मांगी थी. सीबीआइ ने ओड़िशा के मुख्य सचिव व पुलिस महानिदेशक से भी सहयोग मांगा था. उल्लेखनीय है कि सर्वोच्च न्यायालय ने सारधा मामले की सीबीआइ जांच का आदेश देते हुए राज्य सरकार को हर संभव सुविधा उपलब्ध कराने का निर्देश दिया था.
श्री सिन्हा ने कहा कि सीबीआइ को मुख्य फोकस इस घोटाले के पीछे छिपी साजिश का खुलासा करना होगा. सीबीआइ ने 10000 करोड़ रुपये के सारधा घोटाले की जांच के लिए सात सदस्यीय टीम का गठन किया गया है. एसआइटी के प्रमुख संयुक्त निदेशक राजीव सिंह इस संबंध में सेक्योरिटीज एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (सेबी) व आरबीआइ की भूमिका की भी जांच करेंगे. सीबीआइ के विशेष निदेशक अनिल कुमार सिन्हा को पूरी जांच पर निगरानी रखने तथा नियंत्रण रखने की निर्देश दिया गया है.
सारधा समूह के प्रमुख सुदीप्त सेन को पश्चिम बंगाल सरकार ने पिछले साल कश्मीर से गिरफ्तार किया था. तृणमूल कांग्रेस के सांसद कुणाल कुमार घोष को भी इस घोटाले के सिलसिले में पिछले साल 23 नवंबर को गिरफ्तार किया गया था. श्री घोष सारधा समूह की कंपनियों के मीडिया मुख्य कार्याधिकारी अधिकारी थे.