नयी दिल्ली: दिल्ली की एक अदालत ने राजधानी को पूरी दुनिया के अपराधियों के लिए सुरक्षित पनाहगार बताते हुए दिल्ली पुलिस को निर्देश दिया है कि राजधानी में बिना दस्तावेजों के रहने वाले विदेशियों को पकड़ा जाए और उनके देश वापस भेज दिया जाए.
उजबेकिस्तान की नागरिक नाजोकत मदामिनोवा की जमानत अर्जी पर सुनवाई करते हुए अदालत ने यह आदेश दिया. उजबेक नागरिक को विदेशी लड़कियों के साथ यहां देह-व्यापार करने के आरोप में जेल में डाला गया था.अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश राजेंद्र कुमार शास्त्री ने कहा, ‘‘दिल्ली पूरी दुनिया के अपराधियों के लिए सुरक्षित पनाहगार बन गया है. पुलिस और विदेशी क्षेत्रीय पंजीकरण कार्यालय जैसी अन्य सरकारी एजेंसियों के ढीलेपन के कारण अपराधियों को यहां से काम करने और आजाद घूमने में मदद मिली है.’’
उन्होंने कहा, ‘‘इन अवांछित मेहमानों की गतिविधियों की प्रभावी रोकथाम नहीं होती जो देश की राजधानी में मजबूत पुलिस बल की नाक के नीचे आजादी से घूमते हैं. वे बिना वैध दस्तावेजों के सालों से यहां रहते हैं और अपराध के गिरोह चलाते हैं.’’ अदालत ने नाजोकत की अर्जी खारिज करते हुए कहा, ‘‘अपराध की गंभीरता और गुनाह में फरियादी की प्रथमदृष्टया संलिप्तता को देखते हुए उसे जमानत पर छोड़ने की कोई वजह नहीं लगती.’’