नयी दिल्ली : संसद के मानसून सत्र के समापन पर संतोष व्यक्त करते हुए भाजपा ने आज कहा कि सरकार की विश्वसनीयता खत्म हो गयी है, नेतृत्वहीनता, भ्रष्टाचार चरम पर है और बचाव की मुद्रा अपनाये इस सरकार के पास किसी सवाल का जवाब नहीं है.संसद के मानसून सत्र की समाप्ति पर राज्यसभा में विपक्ष के नेता अरुण जेटली ने संवाददाताओं से कहा कि मानसून सत्र के दौरान भाजपा ने मुख्य विपक्षी दल की जिम्मेदारी को बखूबी निभाने का पूरा प्रयास किया और एक अनिच्छुक प्रधानमंत्री को अर्थव्यवस्था के मुद्दे पर जवाब देने को मजबूर किया.
उन्होंने कहा, ‘‘सरकार की विश्वसनीयता टूट गयी है, नेतृत्वहीनता, भ्रष्टाचार चरम पर है और बचाव की मुद्रा में इस सरकार के पास किसी सवाल का जवाब नहीं है. यह बिना जवाबदेही वाली सरकार है.’’
यह पूछे जाने पर कि जिन विधेयकों को पारित कराने की बात भाजपा कर रही है, उसका पूरा श्रेय सत्तारुढ़ कांग्रेस ले रही है, लोकसभा में विपक्ष की नेता सुषमा स्वराज ने कहा, ‘‘बिना हमारे सहयोग के कांग्रेस इन विधेयकों को पारित करा रही नहीं सकती थी. भूमि अधिग्रहण विधेयक के पक्ष में भाजपा को लेकर कुल 216 मत पड़े हैं. सरकार कितने अल्पमत में है, इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है.