धनबाद: यह है राज्य सरकार को प्रति वर्ष दो हजार करोड़ रुपया का राजस्व देने वाले जिले धनबाद का सच. जब शहरी इलाके की प्रमुख सड़कों की यह हालत है, तो गली-मुहल्ले की सड़कें किस हाल में होगी यह सहज अंदाजा लगाया जा सकता है. बरटांड़- पुलिस लाइन वाया हाउसिंग कॉलोनी वाली सड़क में कम से कम बीस बड़े गड्ढे हैं. जबकि इसी इलाके में शहर के विधायक एवं राज्य के पशुपालन, मत्स्य एवं आपदा मंत्री मो. मन्नान मल्लिक रहते हैं.
कमजोर मॉनसून में यह हालत
इस वर्ष कमजोर मॉनसून के बावजूद धनबाद शहर की सड़कें टें बोल गयी है. शहर की अधिकांश सड़कें चलने लायक नहीं रह गयी है. जिस तरह से भादो में बारिश शुरू हुई है उसको देखते हुए आने वाले दिनों में स्थिति और बिगड़ने वाली है. शहर की कोई भी ऐसी सड़क नहीं है जिस पर अभी आराम से वाहन चला सकते हैं. सिर्फ एनएच की पुलिस लाइन से ले कर गोविंदपुर मोड़ तक की सड़क जिसकी मरम्मत वर्ष 2012 में हुई थी की ही हालत थोड़ी ठीक है. बदहाल सड़कें एनएच एवं पथ निर्माण विभाग के अधीन हैं.
जल्द निजात की संभावना नहीं
बदहाल सड़कों से जल्द निजात मिलने की संभावना नहीं. गया पुल के पास सड़क चौड़ीकरण कार्य का टेंडर तीन सितंबर को होना है. जबकि अन्य सड़कों का निर्माण बरसात बाद कराने की बात अधिकारी कह रहे हैं. सरकारी महकमे में बरसात की अवधि जुलाई से अक्तूबर तक मानी जाती है.