बेरमो: दामोदर बचाओ आंदोलन के तत्वावधान में 18 जून को झारखंड के कुल 20 व बेरमो अनुमंडल के पांच स्थानों पर गंगा दशहरा के अवसर पर दामोदर नदी के तट पर देवनद दामोदर महोत्सव का आयोजन होगा.
यह आयोजन प्रत्येक वर्ष होता है. फुसरो में संघ चालक ओमप्रकाश सिंह, खेतको में पूर्व विधायक योगेश्वर महतो बाटूल, तेनुघाट में पूर्व विधायक छत्रुराम महतो, जरीडीह में भाजपा नेता डॉ प्रह्वाद वर्णवाल व चंद्रपुरा में स्थानीय लोगों की उपस्थिति में महोत्सव होगा. महोत्सव के दौरान नदी के तट पर पूजा-अर्चना व सामूहिक आरती होगी. महोत्सव को सफल बनाने में प्रवीण सिंह, श्रवण सिंह, गोपाल डालमिया, समुंदर प्रसाद, मोहन कुमार आदि लगे हैं. बताते चले कि दामोदर नदी को उद्गम स्थल चुल्हापानी से लेकर चंदवा तक देवनद कहा जाता है.
चंदवा से जिस स्थान पर ऊंचे पहाड़ से यह नीचे गिरती है, वहां से यह दामोदर नदी के रूप में जानी जाती है. इसी स्थान से नदी का प्रदूषण भी शुरू हो जाता है. चंदवा से लेकर रामगढ़, खलारी, गिद्दी, रजरप्पा, बेरमो, चंद्रपुरा, तेलमच्चो तक यह नदी प्रदूषित होती जाती और पंचेत तक जाती है. पंचेत के बाद यह नदी आगे चल कर बंगाल की खाड़ी में मिल जाती है.
वर्ष 04 से चल रहा अभियान : वर्ष 2004 से दामोदर बचाओ आंदोलन भाजपा के वरिष्ठ नेता सरयू राय व प्रदेश संयोजक डॉ प्रह्वाद वर्णवाल के नेतृत्व में दामोदर नदी को प्रदूषण से मुक्त कराने के लिए चलाया रहा है. हर साल पांच जून पर्यावरण दिवस के अवसर पर कई आंदोलनात्मक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाने लगा.
दिल्ली में संसद भवन के समक्ष धरना दिया गया. चुल्हापानी से लेकर पंचेत तक तीन बार यात्र भी निकाली गयी, जिसमें आंदोलन से जुड़े वैज्ञानिकों की टीम को भी शामिल किया. दामोदर नदी के पानी का नमूना लेकर लेबोरेट्री में जांच के बाद केंद्र व राज्य सरकार को रिपोर्ट सौंपी गयी. रांची, बोकारो व चंद्रपुरा में कई सेमिनार किये गये. बीटीपीएस व सीटीपीएस प्रबंधन द्वारा दामोदर नदी को प्रदूषित किये जाने को लेकर श्री राय ने उच्च न्यायालय में रिट याचिका दायर की.