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दाल में आटा दूध में पानी, यही है अस्पताल की कहानी

भागलपुर : मेस मैनेजर कहां हैं? यहां तो कोई नहीं है. दाल में आटा और दूध में पानी मिला कर मरीजों को दिया जाता है. उक्त बातें शनिवार को जेएलएनएमसीएच के कैंटीन में एससीएसटी कमेटी के सदस्यों द्वारा कही जा रही थी. तभी अंग विकास परिषद के कैंटीन में एक स्टाफ आया और कहने लगा […]

भागलपुर : मेस मैनेजर कहां हैं? यहां तो कोई नहीं है. दाल में आटा और दूध में पानी मिला कर मरीजों को दिया जाता है. उक्त बातें शनिवार को जेएलएनएमसीएच के कैंटीन में एससीएसटी कमेटी के सदस्यों द्वारा कही जा रही थी.

तभी अंग विकास परिषद के कैंटीन में एक स्टाफ आया और कहने लगा कि बरतन धोने के लिए दूध के बरतन में पानी रखा गया था वही है. सदस्यों ने दोबारा पूछा तो कहा गया कि चाय के लिए सुधा का दूध आता है यह नहीं है. तभी अस्पताल के डायटीसियन आ गये और कहने लगे कि यहां का भोजन अभी मरीजों को बांटने के लिए वार्ड में दिया गया है.

यह भोजन बचा हुआ है इसे नहीं बांटा जाता है. इसके बाद स्टोर को खुलवा कर देखा गया. वहां की व्यवस्था पर भी असंतोष जताया गया. इस पर डायटीसियन ने कहा कि सर कोल्ड स्टोर को देखा जाये जहां भोजन का सामान रखा जाता है. इस पर समिति के सदस्य भड़क गये और कहने लगे कि आप मुझे कहेंगे कि कहां जाना है.

यह हम तय करेंगे कि आप तय करेंगे. इसके बाद उन्होंने हाथ जोड़ते हुए कहा कि हम तो यही कहेंगे कि यहां अच्छा भोजन दिया जाता है. जब फिर कैंटीन के स्टाफ से पूछा गया तो उसने स्वीकार किया कि हां दूध में पानी मिला हुआ था. महिला सदस्य अमला देवी ने कहा कि हमलोगों को दूध की पहचान है सभी अपने बच्चों को घर में दूध पिलाते हैं. दूध और पानी में बहुत अंतर होता है.

मेडिसिन वार्ड में मशाकचक के सरयुग प्रसाद सिंह को खून की उल्टी की शिकायत थी, असरगंज बाथ थाना के परशुराम सिंह के परिजनों ने बताया कि रक्त की आवश्यकता है और सभी दवा यहां नहीं मिल रही है. इसकी शिकायत करते हुए अधीक्षक से सदस्यों ने कहा कि ऐसे नहीं चलेगा इसकी रिपोर्ट सरकार से की जायेगी.

इससे पूर्व टीम ने जिला स्तरीय पदाधिकारियों के साथ परिसदन में बैठक की और उनसे एससीएसटी के लिए चलायी जा रही विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं की समीक्षा की. साथ ही टीम वार्ड नंबर 26 के आंगनबाड़ी केंद्र का भी निरीक्षण किया जहां न बच्चे थे न सेविका.

बताया गया कि चार माह से केंद्र में पोषाहार बंद है और सेविका कभी-कभार आती है. टीम ने बताया कि इसकी रिपोर्ट विधानसभा में की जायेगी. जांच टीम में सभापति रमेश ऋषिदेव, सदस्य अमला देवी, अमन पासवान मौजूद थे.

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