भारत में विषाक्त कचरों के ढेर में सीसा और क्रोमियम का स्तर सामान्य से बहुत ज्यादा होने के कारण लोगों में बीमारियां और विकलांगता बढ़ रही हैं और इससे लोगों की जान भी जा रही है. इसके कारण बड़ी संख्या में लोग स्वस्थ जीवन नहीं बिता पा रहे हैं.
‘विषाक्त कचरा स्थलों के कारण वर्ष 2010 में भारत, इंडोनेशिया और फिलीपीन में बीमारियों का बढ़ता बोझ’ शीर्षक से किए गए अध्ययन में इन तीनों देशों में मौजूद 373 कचरा घरों के निकट रहने वाले लोगों पर आधारित है. इस अध्ययन के परिणाम ‘इंवायरमेंटल हेल्थ पर्सपेक्टिव’ में प्रकाशित हुए हैं. अध्ययन में कहा गया है कि इससे होने वाली परेशानियां अन्य गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं जैसे मलेरिया और वायु प्रदूषण जिनती ही गंभीर हैं.
माउंट सिनाई के इकहान स्कूल ऑफ मेडिसिन में पेडियाट्रिक इंवायरमेंटल हेल्थ फेलो के प्रबंध निदेशक और मुख्य अध्ययनकर्ता केविन चाथम-स्टिफेन ने कहा कि सीसा और हेक्सावेलेंट क्रोमियम सबसे विषाक्त रसायनों में से एक हैं.