पिपरा : थाना क्षेत्र अंतर्गत बसहा पंचायत के वार्ड नंबर 14 सुखासनी गांव में गुरुवार की रात शंकर कुमार उर्फ ननका की हुई नृशंस हत्या की घटना का पुलिस ने खुलासा कर लिया है. पुलिस के मुताबिक सगे बहनोई ने ही अपने साले की हत्या कर दी. पिपरा थाना में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में एसडीपीओ विद्यासागर ने बताया कि मृतक शंकर कुमार के सगे बहनोई बेलोखरा थुमहा निवासी रंजीत यादव ने ही इस नृशंस हत्या की साजिश रची थी. इसके बाद घटना को अंजाम दिया.
बताया कि शंकर कुमार अपने बहनोई रंजीत यादव का बार-बार ससुराल (सुखासनी) आना पसंद नहीं करता था. रंजीत के साथ उसके कई दोस्त भी आते थे जो शंकर को पसंद नहीं था. घर में उसकी एक छोटी बहन भी थी, जिस कारण वह अपने बहनोई व उसके दोस्तों के आने-जाने का विरोध करता था. इस बात को लेकर दोनों में कई बार झगड़ा भी हुआ. मृतक के पिता भूपेंद्र यादव जो रंजीत के ससुर हैं. वे दोनों को समझा बुझा कर शांत कराते थे.
पिपरा पुलिस को मिली कामयाबी
एसडीपीओ ने बताया कि घटना के दिन अभियुक्त रंजीत यादव ने अपने साले शंकर कुमार को मेला दिखाने के बहाने भूड़ा उसके ननिहाल लाया. जहां से फिर उसे वापस सुखासनी गांव के लिए निकला. साथ ही रास्ते से ही मछली लेने के बहाने सखुआ चकला के बीच पलार पर ले गया. जहां उसने अपने चचेरे भाई संजय यादव और अन्य दो व्यक्तियों के सहयोग से अपने साले की चाकू से गला रेत कर हत्या कर दी. हत्या करने के बाद अभियुक्त रंजीत यादव वापस अपने घर बेलोखरा गया.
वहां कपड़े बदल कर वापस अपने ससुराल सुखासनी जाकर सो गया. घटना की सूचना अगले दिन उसने अपने किसनपुर स्थित तुलापट्टी के सोनवर्षा निवासी बहनोई को भी दी थी. घटना के बाद सड़क जाम में सबसे अधिक आक्रोशित होने का ढ़ोंग भी रचा. वहीं सबसे ज्यादा रो भी रहा था. घटना के लिए उपयोग में लाये गये बाइक, मृतक शंकर का मोबाइल और अभियुक्त द्वारा घटना के समय पहने वस्त्र को पुलिस ने बरामद कर लिया है. हत्याकांड से जुड़े अन्य अभियुक्तों की तलाशी में छापेमारी की जा रही है.
इस जघन्य हत्याकांड की घटना के 48 घंटे में उद्भेदन पिपरा पुलिस की उपलब्धि है. उद्भेदन में एसडीपीओ विद्यासागर, थानाध्यक्ष शिवशंकर कुमार, एसआई शिवजी पांडेय, एएसआई संजय सिंह सहित पुलिस की तत्परता लोगों में चर्चा का विषय है.