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झारखंड की नाबालिग से हरियाणा में हैवानियत, लोहे के गर्म चिमटे से दागा जाता था, पीड़िता से मिले अर्जुन मुंडा

केंद्रीय जनजातीय कार्य मंत्री अर्जुन मुंडा ने हरियाणा पहुंचकर इलाजरत बच्ची से मुलाकात की. उन्होंने कहा, आदिवासी लड़कियां घरेलू कामगार के रूप में काम करने आती हैं और उनके साथ ऐसा व्यवहार किया जाता है. डॉक्टरों के मुताबिक बच्ची को बिगड़ी हालत में लाया गया था. वह 15 वर्ष की है.

हरियाणा के गुरुग्राम में पिछले दिनों नाबालिग बच्ची को कथित रूप से प्रताड़ित करने और उसका यौन शोषण करने का मामला सामने आया था. जिसके बाद भारी बवाल हुआ. नाबालिग बच्ची इस समय अस्पताल में भर्ती है. केंद्रीय जनजातीय कार्य मंत्री अर्जुन मुंडा ने हरियाणा पहुंचकर इलाजरत बच्ची से मुलाकात की. उन्होंने घटना को दुखदायी बताया और कहा- बच्ची को हर संभव मदद दी जाएगी.

लड़की को बचाया गया, आरोपी दंपति गिरफ्तार

गुरुग्राम एसपी प्रीत पाल सांगवान ने बताया, हमें एक नाबालिग लड़की को एक जोड़े द्वारा बंदी बनाए जाने, प्रताड़ित करने और घर का काम करने के बारे में जानकारी मिली थी. लड़की को बचा लिया गया है, और आरोपी दंपति को गिरफ्तार कर लिया गया है. आगे की जांच जारी है.

पीड़ित नाबालिग की बेहतरी के लिए काम करेगा जनजातीय मामलों का मंत्रालय

केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा, आज मैंने उस आदिवासी लड़की को देखा जिसे बचाया गया और अस्पताल में भर्ती कराया गया. उसे गुरुग्राम के एक कपल ने प्रताड़ित किया था. यह बहुत दुखदायी है. आदिवासी लड़कियां घरेलू कामगार के रूप में काम करने आती हैं और उनके साथ ऐसा व्यवहार किया जाता है. उन्होंने आगे कहा, डॉक्टरों के मुताबिक बच्ची को बिगड़ी हालत में लाया गया था. वह 15 वर्ष की है. जनजातीय छात्रों के लिए राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी के हमारे मंत्री यहां हैं. जनजातीय मामलों का मंत्रालय उनकी बेहतरी के लिए क्या किया जा सकता है इस पर काम करेगा.

नाबालिग को प्रताड़ित करने वाले दंपती को नौकरी से धोना पड़ा हाथ

गुरुग्राम में नाबालिग घरेलू सहायिका को कथित रूप से प्रताड़ित करने और उसका यौन शोषण करने के आरोप में गिरफ्तार दंपती को उनके नियोक्ताओं ने नौकरी से निकाल दिया है. आरोपी महिला एक जनसंपर्क कंपनी में काम करती थी जबकि उसका पति एक बीमा कंपनी में कार्यरत था. दोनों के नियोक्ताओं ने ट्वीट कर उन्हें नौकरी से निकाले जाने की सार्वजनिक घोषणा की है.

झारखंड की है बच्ची

पुलिस के साथ मिलकर लड़की को आरोपी दंपती के चंगुल से मुक्त कराने वाले सखी केंद्र की प्रभारी पिंकी मलिक की तहरीर के अनुसार, झारखंड की राजधानी रांची की रहने वाली इस किशोरी को एक ‘प्लेसमेंट एजेंसी’ के माध्यम से काम पर रखा गया था, दंपती उससे बहुत ज्यादा काम करवाते थे और रोजाना बेहद उसे बेरहमी से उसे पीटते थे. पुलिस ने बुधवार को न्यू कॉलोनी निवासी मनीष खट्टर (36) और उनकी पत्नी कमलजीत कौर (34) को गिरफ्तार करने के बाद कहा था कि घरेलू सहायिका के हाथ, पैर और चेहरे पर चोट के कई निशान मिले हैं.

बच्ची को लोहे के गर्म चिमटे से दागा जाता था

पिंकी मलिक ने दावा किया कि दंपती पीड़ित किशोरी को पूरी रात सोने नहीं देते थे और उसे खाना भी नहीं देते थे. उन्होंने बताया, उसका चेहरा बुरी तरह सूजा हुआ था, जबकि शरीर पर हर जगह चोट के निशान थे. प्राथमिकी के अनुसार, पीड़िता ने बताया कि पांच महीने पहले उसका एक रिश्तेदार उसे खट्टर के फ्लैट पर छोड़ गया था, जहां खट्टर अपनी पत्नी और बेटी के साथ रहते हैं. पीड़िता ने कहा कि उसे हर दिन अपमानित किया जाता और पीटा जाता. उसे प्रताड़ित करने के लिए कथित तौर पर गर्म लोहे के चिमटे का इस्तेमाल किया गया था. प्राथमिकी के मुताबिक, खट्टर उसे निर्वस्त्र करते थे और उसके निजी अंगों पर चोट पहुंचाते थे. पीड़िता ने कहा कि दंपति ने उसे अपने घर में कैद कर लिया था और उसे अपने परिवार से बात नहीं करने देते थे.

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